'नशे में थे भगवंत मान, इसलिए फ्लाइट से उतारा', विपक्षी पार्टियों के आरोप; आप ने कहा- 'सरासर गलत'

मान के कार्यालय का कहना है कि अस्वस्थ होने के कारण उन्होंने दिल्ली लौटने में देरी की. उनकी आम आदमी पार्टी (आप) ने विपक्ष पर "दुष्प्रचार फैलाने" के लिए पलटवार किया है.

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पंजाब के सीएम भगवंत मन (फाइल फोटो)

चंडीगढ़/नई दिल्ली:

पंजाब के सीएम भगवंत मान को फ्रैंकफर्ट से लुफ्थांसा की फ्लाइट छोड़ने की खबरों को लेकर विपक्षी दलों ने आम आदमी पार्टी पर निशाना साधा है. विपक्षी पार्टियों का कहना है कि पंजाब के सीएम नशे में धुत्नेत थे, इसलिए एयरलाइन्स ने उन्हें विमान से उतार दिया. विपक्षी नेताओं का कहना है कि ऐसा कर सीएम भगवंत मान ने 'पंजाबियों' को शर्मसार किया है. दूसरी ओर, मुख्यमंत्री भगवंत मान के कार्यालय का कहना है कि अस्वस्थ होने के कारण उन्होंने दिल्ली लौटने में देरी की. उनकी आम आदमी पार्टी (आप) ने विपक्ष पर "दुष्प्रचार फैलाने" के लिए पलटवार किया है.

दरअसल, ऐसी खबरें हैं कि जर्मनी गए पंजाब के सीएम भगवंत मान को लुफ्थांसा एयरलाइंस की फ्लाइट से उतार दिया गया था क्योंकि वे नशे में धुत थे. रिपोर्ट्स की मानें तो उनकी स्थिति ऐसी थी कि वे अपने पैरों पर भी खड़े नहीं हो पा रहे थे. ऐसे में उन्हें यात्रा की अनुमति नहीं दी गई. 

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पूरे मामले में दिल्ली कांग्रेस ने ट्वीट कर निशाना साधा और कहा कि बेहद शर्मनाक. पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान को नशे में धुत होने के कारण विमान से उतरा गया. वहीं, शिरोमणि अकाली दल के सुखबीर सिंह बादल ने कहा, " सह-यात्रियों के हवाले से परेशान करने वाली मीडिया रिपोर्ट्स का कहना है कि पंजाब सीएम भगवंत मान को लुफ्थांसा की उड़ान से उतार दिया गया था क्योंकि वे बहुत नशे में थे. इससे उड़ान में 4 घंटे की देरी हुई. वे आप के राष्ट्रीय अधिवेशन में शामिल होने से चूक गए. इन रिपोर्टों ने दुनिया भर के पंजाबियों को शर्मिंदा और शर्मिंदा किया है."

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उन्होंने कहा, " हैरानी की बात यह है कि पंजाब सरकार इन रिपोर्टों पर चुप्पी साधे हुए है जिसमें उनके मुख्यमंत्री शामिल हैं. आप संयोजक अरविंद केजरीवाल को इस मुद्दे पर सफाई देने की जरूरत है. भारत सरकार को कदम उठाना चाहिए क्योंकि इसमें पंजाबी और राष्ट्रीय गौरव शामिल है. यदि उन्हें विमान से उतारा गया था, तो भारत सरकार को अपने जर्मन समकक्ष के साथ इस मुद्दे को उठाना चाहिए."

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इधर, आप प्रवक्ता मलविंदर सिंह कांग ने इसे विपक्षी दलों का प्रोपगेंडा करार दिया है और सुखबीर बादल और कांग्रेस से 'असत्यापित' आरोप लगाने के लिए माफी मांगने की मांग की है.

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