3 महीने की मासूम एक सिरफिरे किन्नर की नाराजगी का शिकार हो गई. लॉकडाउन की वजह से पहले से ही बेजार गरीब परिवार ने बेटी होने की खुशी में 1100 रुपए शगुन देने में असमर्थता क्या जताई नाराज किन्नर ने रात के अंधेरे में उस मासूम को चुराकर उसकी हत्या कर दी. दादी इंदूबाई चितकोटे ने कहा कि 9 बजे एक छक्का आया था, बोला पोती हुई है पैसा दे ...मैंने बोला अभी पैसा नही है, लॉकडाउन लगा है, बेटी नायगांव में है आयेगी तब देगी. परिवार के मुताबिक तब तो किन्नर वापस चला गया. लेकिन रात में उनकी अचानक नींद खुली तो देखा तो बेटी गायब थी. पुलिस में मामला दर्ज कर तलाश शुरू हुई। परिवार ने पुलिस को किन्नर वाली बात बताई.
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कफपरेड के सीनियर पीआई राजकुमार डोंगरे के मुताबिक, उस इनपुट के आधार पर हमने उस किन्नर को उठाया और उससे पूछताछ की तो उसने बताया कि अपने एक दोस्त सोनू के साथ मिलकर बच्ची को किडनैप किया और खाड़ी में ले जाकर गाड दिया.
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आरोपी के दिखाए जगह से बच्ची का शव बरामद होने के बाद पुलिस ने आरोपी किन्नर कन्नू दत्ता और उसके साथी सोनू को गिरफ्तार कर लिया है. घर में बच्चा पैदा होने की खुशी में किन्नरों काघर मे शगुन लेने आना बहुत पुरानी प्रथा है. लेकिन पैसे ना मिलने पर मासूम की हत्या ऐसा शायद ही पहले कभी हुआ होगा.