कोरोना संक्रमण ने फिर एक बार चीन समेत कुछ अन्य देशों में तबाही मचानी शुरू कर दी है. इस कारण भारत में भी आन जनता के साथ-साथ केंद्र और राज्य सरकार चिंतित है. देश में कोरोना के संभावित खतरे से निपटने की तैयारी शुरू कर दी गई है. बैठकों का दौर जारी है. साथ ही सरकार ने सुरक्षात्मक कदम उठाना भी शुरू कर दिया है.
इसी क्रम में कोरोना से निपटने की तैयारियों को जांचने के लिए कल देशभर के अस्पतालों में मॉक ड्रिल होगा. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया खुद सफदरजंग अस्पताल में सुबह 10:00 बजे मॉक ड्रिल की तैयारियों का जायजा लेंगे.
केंद्र सरकार के स्वास्थ्य मंत्रालय ने देश के सभी राज्यों को मॉक ड्रिल कराने की अपील की है. स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा है कि मॉक ड्रिल के जरिए इस बात का आकलन हो पाएगा कि कोरोना की इस लड़ाई में देश के अस्पताल किस तरह तैयार हैं.
बता दें कि सभी राज्यों को मॉक ड्रिल कराने के लिए कहा गया है. इस दौरान राज्यों को यह देखना है कि वह किस तरह से कोरोना से निपटने के लिए तैयार हैं. राज्यों के अस्पतालों में इंफ्रास्ट्रक्चर कितना है? क्या अस्पतालों के पास पीपीपीई किट हैं? एन95 मस्क हैं? वेंटिलेटर हैं?कोविड के वार्ड तैयार हैं? बेड की संख्या क्या है? और मेडिकल ऑक्सीजन की उपलब्धता क्या है?
इधर, स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने देश के डॉक्टरों से अपील की है कि कोरोना को लेकर लोगों को गलत जानकारी देने से बचें.
मांडविया ने आज आईएमए प्रतिनिधियों और देश के 100 डॉक्टरों के साथ कोरोना के मुद्दे पर बैठक की. स्वास्थ्य मंत्री ने डॉक्टरों से कहा कि कोरोना के मुद्दे पर गलत जानकारी देने से बचें और सही सूचना लोगों तक पहुंचनी चाहिए.
कोरोना को लेकर किसी तरह का अनुमान लगाना या फिर और असत्यापित जानकारी देना ठीक नहीं है. जब कोई सत्यापित सूचना हो उसे ही लोगों तक पहुंचाना चाहिए.
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