"दोनों ओर से गलती": ईसाइयों पर लगातार हो रहे हमले को लेकर बोले कर्नाटक के गृह मंत्री 

ईसाई प्रार्थना सभाओं पर दक्षिणपंथी समूहों द्वारा हमलों के बारे में पूछे जाने पर ज्ञानेंद्र ने कहा, "दोनों पक्षों की गलती है. अगर वे जबरन धर्मांतरण नहीं कर रहे थे तो वे उन्हें रोक नहीं रहे थे और हंगामा नहीं कर रहे थे."

विज्ञापन
Read Time: 24 mins
ईसाइयों पर हमले को लेकर कर्नाटक के गृह मंत्री ने अरागा ज्ञानेंद्र ने कहा कि दोनों ओर से गलती है.
बेंगलुरु:

कर्नाटक (Karnataka) में ईसाइयों पर हो रहे लगातार हमलों (Attack on Christians) में आंशिक रूप से उनकी गलती है. राज्‍य के गृह मंत्री अरागा ज्ञानेंद्र (Home Minister Araga Jnanendra) ने शुक्रवार को यह संकेत दिया. उन्‍होंने एनडीटीवी से कहा, 'दोनों ओर से गलती है'. क्रिसमस से दो दिन पहले राज्य में व्यापक विरोध के बीच विवादास्पद धर्म परिवर्तन विधेयक को पारित किया गया है, जिसके बारे में मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने कहा कि यह राज्य में बड़े पैमाने पर जबरन धर्मांतरण से बचने के लिए किया गया है. 

ईसाई प्रार्थना सभाओं पर दक्षिणपंथी समूहों द्वारा हमलों के बारे में पूछे जाने पर ज्ञानेंद्र ने कहा, "दोनों पक्षों की गलती है. अगर वे जबरन धर्मांतरण नहीं कर रहे होते तो वे उन्हें रोक नहीं रहे होते और हंगामा नहीं करते." हालांकि, उन्होंने स्वीकार किया कि "कोई रास्ता नहीं है, कोई भी कानून अपने हाथ में ले सकता है, अगर कोई शिकायत दी जाती है तो कार्रवाई की जाएगी.''  

कर्नाटक: धर्मांतरण रोकथाम बिल पर सिद्धारमैया बैकफुट पर

यह पूछे जाने पर कि क्या कुछ तत्‍वों के कारण कानून-व्यवस्था की स्थिति खराब हो रही है, मंत्री ने कहा, "एक तरफ, हां, हाशिए के तत्व और दूसरी तरफ अवैध रूप से धर्मांतरण हो रहे हैं." 

Advertisement

यह पूछे जाने पर कि क्या राज्य सरकार के पास अवैध धर्मांतरण को साबित करने के लिए आंकड़े हैं, ज्ञानेंद्र ने इसका जवाब हां में दिया. यह पूछे जाने पर कि क्या डाटा दर्ज मामलों या आरोपों पर आधारित है, उन्होंने कहा कि यह आरोप है. 

Advertisement

कर्नाटक में धर्मांतरण विरोधी बिल के विवाद के बीच एक बार फिर सामने आई चर्च में तोड़फोड़ की घटना

Advertisement

उन्होंने कहा, "कोई मामला दर्ज नहीं है. उडुपी में एक आत्महत्या हुई,  मेंगलुरु में चार लोगों ने धर्मांतरण के चलते आत्‍महत्‍या कर ली.'' उन्‍होंने भाजपा विधायक गुलिहट्टी चंद्रशेखर की मां का जिक्र करते हुए कहा, "शिकायत (पुलिस को) देने से पहले, उन्‍होंने अपनी मां से धर्मांतरण न करने का अनुरोध किया था और धर्मांतरण न करने के बारे में जागरूकता पैदा करना शुरू कर दिया" उन्‍होंने कहा, "कोई धारा नहीं है, जिसके तहत यह मामला दर्ज किया जा सकता है. यह पुलिस की गलती नहीं है. सिद्धारमैया ने कहा कि आप आईपीसी की धारा 295 के तहत शिकायत दर्ज कर सकते हैं, लेकिन वह धारा पूजा स्थल को अपवित्र करने के बारे में है. धर्मांतरण के लिए कोई धारा नहीं है."

Advertisement

यहां जानें कर्नाटक धार्मिक अधिकार संरक्षण  बिल 2021 की खास बातें

इससे पहले गुरुवार को कांग्रेस के जोरदार विरोध के बीच "धर्म की स्वतंत्रता के अधिकार का कर्नाटक संरक्षण विधेयक, 2021" को विधानसभा में पारित कर दिया गया, जिसे "धर्मांतरण विरोधी विधेयक" के रूप में जाना जाता है. कांग्रेस ने इसे जनविरोधी, अमानवीय, संविधान विरोधी, गरीब विरोधी और कठोर बताया. 

पिछले हफ्ते, बसवराज बोम्मई के कैबिनेट में मंत्री डॉ अश्वत्नारायण सीएन ने एनडीटीवी को बताया था कि उनके धर्म के कारण ईसाई समुदाय पर कोई हमला नहीं हुआ है. उन्होंने तर्क दिया कि हमले व्यक्तिगत स्तर पर थे और राजनीतिक उद्देश्यों को पूरा करने के लिए उनके चारों ओर एक अभियान बनाया गया है. 

कर्नाटक: धर्मांतरण विरोधी विधेयक पर विवाद के बीच चर्च में तोड़फोड़ की एक और घटना | पढ़ें

Featured Video Of The Day
Maharashtra Elections: कल दादर के शिवाजी पार्क में PM Modi की रैली, Mumbai में ट्रैफिक अलर्ट