माइक्रोब्लॉगिंग वेबसाइट एक्स पर एक यूजर और रेल मंत्रालय ने भीड़ भरे सेकेंड एसी स्लीपर कोच के एक वायरल वीडियो को लेकर एक-दूसरे पर कटाक्ष किए. एसी स्लीपर कोच में कई लोगों को कथित तौर पर बिना टिकट यात्रा करते हुए देखा गया था.
यूजर कपिल ने आरोप लगाया कि भीड़ भारतीय ट्रेनों के "सबसे प्रीमियम कोचों में से एक" तक पहुंच गई थी. उन्होंने शुक्रवार को मुंबई और उत्तर प्रदेश के गोरखपुर के बीच चलने वाली भीड़भाड़ वाली काशी एक्सप्रेस के 14 अप्रैल के वीडियो को दोबारा शेयर करते हुए कहा, "केवल फर्स्ट एसी को नष्ट किया जाना बाकी है."
यह वीडियो मूल रूप से ट्रेन में एक यात्री द्वारा शेयर किया गया था और इसमें लोगों को शौचालय के रास्ते को रोकते हुए और प्रवेश और निकास द्वार पर खड़े हुए दिखाया गया था.
उन्होंने दावा किया था कि, "दरवाजे खुले होने के कारण ट्रेन का एसी ठीक से काम नहीं कर रहा था." उन्होंने रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव को टैग करते हुए उनसे जरूरी कार्रवाई करने का आग्रह किया था.
हालांकि रेल मंत्रालय ने शनिवार को कपिल के ट्वीट का जवाब दिया और "कोच का वर्तमान वीडियो" साझा किया, जिसमें कोई भीड़भाड़ नहीं दिखाई दे रही थी.
मंत्रालय ने कहा, "कृपया भ्रामक वीडियो साझा करके भारतीय रेलवे की छवि खराब न करें."
इस पर जवाब में यूजर ने बताया कि मंत्रालय ने आज का वीडियो "कुछ भ्रामक बताने" के लिए शेयर किया है जो 14 अप्रैल को हुआ था. उन्होंने लिखा, "आपकी धमकी भारतीयों को भारतीय रेलवे द्वारा दी जाने वाली खराब सेवा को उजागर करने से नहीं रोक पाएगी."
रेलवे गर्मियों के सीजन में रिकॉर्ड विशेष ट्रेनें चलाएगा
रेल मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा कि वह पिछले साल की तुलना में इस गर्मी में 43 प्रतिशत अधिक ट्रेनें संचालित करेगा ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि अधिक यात्री अपने गंतव्यों तक यात्रा कर सकें.
एक प्रेस बयान में रेल मंत्रालय ने कहा कि यात्रियों की सुविधा सुनिश्चित करने और गर्मियों के दौरान यात्रा की मांग में अनुमानित वृद्धि को लेकर प्रबंध करने के लिए वह इस सीज़न के दौरान रिकॉर्ड-तोड़ 9,111 ट्रेनें संचालित कर रहा है.