उत्तर प्रदेश के लखीमपुर खीरी में पिछले महीने किसान सिर्फ थार से ही नहीं कुचले गए, बल्कि इस दौरान गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा के बेटे आशीष मिश्रा और उसके दोस्त अंकित दास के तीन असलहों से फायरिंग भी हुई. सूत्रों के मुताबिक, इनके असलहों की बैलिस्टिक जांच की रिपोर्ट से इसकी तस्दीक हुई है. इससे आशीष मिश्रा का यह दावा कमजोर पड़ जाता है कि वह किसानों को कुचले जाने के वक्त वहां मौजूद नहीं था. गौरतलब है कि 3 अक्टूबर को गृहराज्य मंत्री अजय मिश्रा के बेटे आशीष मिश्रा की महिंद्रा थार पीछे से किसानों को कुचलती चली गई. इससे वहां हंगामा हो गया. मौके पर मौजूद किसानों ने दावा किया कि आशीष मिश्रा ने गोली चलाई. अब बैलिस्टिक जांच में भी गोली चलाना साबित हुआ है.
लखीमपुर खीरी कांड : जांच में आशीष मिश्रा की राइफल से गोली चलने की हुई पुष्टि
अंकित दास की पिस्टल और रिपीटर गन की जांच हुई है जिसमें पाया गया है कि तीन असलहों से फायरिंग हुई. आशीष मिश्रा की राइफल और अंकित दास की पिस्टल और रिपीटर गन से यह गोलियां चलीं. किसानों के वकील का कहना है कि इससे मंत्री के बेटे आशीष पर उनके आरोप पुख्ता होते हैं.
बैलिस्टिक रिपोर्ट से सच सामने: मोहम्मद अमान
मामले में किसानों के वकील मोहम्मद अमान ने कहा, "अभी तक एक पक्ष यही कह रहा था कि मौके पर फायरिंग नहीं हुई है, आशीष मिश्रा या किसी ने भी फायरिंग नहीं की है. अब बैलिस्टिक रिपोर्ट से यह बात साफ हो गई है कि आशीष की राइफल और रिवॉल्वर दोनों इस्तेमाल हुई हैं. फायरिंग की गई है. तो अब यह संदेह दूर हो चुका है कि मौके पर आशीष मिश्रा या उनके समर्थक नहीं थे. यह सब वहां मौके पर मौजूद थे और फायरिंग भी की गई."
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घटना में घायल किसानों ने भी किया दावा
इस घटना में घायल हुए किसान सोनी ने बताया, "सांसद जी के लड़के तिकुनिया की तरफ से गुंडों से भरी गाड़ियां लेकर आए और 120 की स्पीड से भगाते हुए लेकर लोगों को रौंदते हुए चले गए. हमारे साथ हमारे उप्पतरखंड के अध्यक्ष तजिंदर विर्क भी थे जिन्हें कुचल दिया गया. उन्हें भी सिर में चोटें आईं. सांसद जी के लड़के फायरिंग करते हुए भाग गए." वहीं एक दूसरे किसान ने कहा, "सांसद जी के लड़के फायरिंग करते हुए भाग गए और गन्नों में छुप कर निकल गए."
अखिलेश यादव ने बताया ट्रिपल इंजन की सरकार
बैलिस्टिक रिपोर्ट पर समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने तंज कसते हुए कहा कि ये ट्रिपल इंजन की सरकार है. एक इंजन दिल्ली में, एक लखनऊ में और तीसरा गृह राज्य मंत्री की शक्ल में लखीमपुर में है, ऐसे में किसानों को न्याय कैसे मिलेगा? अखिलेश यादव ने कहा, "गृह राज्य मंत्री ने अभी भी इस्तीफा नहीं दिया है. और वो मंच जहां देश के गृह मंत्री हों, मुख्यमंत्री हों, पूरी सरकार हों, उनसे क्या उम्मीद करोगे कि किसानों को न्याय मिलेगा.
विपक्ष ने भी लगाए आरोप
विपक्ष अभी भी आरोप लगा रहा है कि यह एक हादसा नहीं सुनियोजित साजिश है. आजाद समाज पार्टी के अध्यक्ष चंद्रशेखर आजाद ने कहा, "यह आपको समझना पड़ेगा कि यह कोई घटना नहीं थी, यह सुनियोजित ष्ड्यंत्र था, क्योंकि 25 तारीख को वो मैंने वीडियो सुनी है गृह राज्य मंत्री बयान दे रहे हैं कि हमें जो काले झंडे दिखाएगा, उसे हम सबक सिखा देंगे. हम इनको ठीक कर देंगे."