जलगांव ट्रेन हादसा : रेलवे लाइन पर पड़े कपड़े और पत्थरों में मां को तलाशता दिखा दुख में डूबा बेटा

नेपाल की महिला कमला भंडारी की मौत के बाद उनके पुत्र तपेंद्र पहुंचे महाराष्ट्र के जलगांव, पुष्पक एक्सप्रेस में आग लगने की अफवाह के चलते ट्रेन से कूदने के कारण 13 लोगों की मौत

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ट्रेन हादसे में कमला भंडारी की मौत होने के बाद उनके पुत्र तपेंद्र जलगांव जिले में घटनास्थल पर पहुंचे.
जलगांव:

नेपाल की महिला कमला भंडारी की जलगांव के पचोरा के पास हुए पुष्पक एक्सप्रेस ट्रेन हादसे में मौत हो गई. ट्रेन में आग लगने की अफवाह फैलने के बाद कई लोग चलती हुई ट्रेन से कूद गए और विपरीत दिशा से आ रही अन्य ट्रेन से टकरा गए. इससे 13 लोगों की मौत हो गई. कमला भंडारी भी इसी ट्रेन में सवार थीं. उनकी मौत की खबर मिलने के बाद उनके पुत्र तपेंद्र घटनास्थल पर पहुंचे. इस दौरान उस स्थान पर जो भी मौजूद था वह अपने आंसू नहीं रोक सका.   

कमला भंडारी के बेटे तपेंद्र ने लखनऊ में अपनी मां को पुष्पक एक्सप्रेस में बिठाया था. उन्हें ट्रेन में विदा करने से पहले तपेंद्र ने रेलवे स्टेशन पर उनकी एक तस्वीर ली थी. तब तपेंद्र भंडारी को इस बात का अंदाजा नहीं था कि यह तस्वीर उनकी मां की अंतिम तस्वीर होगी. दुर्भाग्य से वह तस्वीर उनकी मां की आखिरी तस्वीर बन गई.

तपेंद्र की मां कमला भंडारी और पत्नी राधा भंडारी पुष्पक एक्सप्रेस से लखनऊ से मुंबई जा रही थीं. ट्रेन में आग लगने की अफवाह फैल गई तो अफरा-तफरी मच गई. इसी अफरा-तफरी के बीच कमला भंडारी भी कोच से बाहर कूद गईं और दुर्भाग्यवश उनकी भी कर्नाटक एक्सप्रेस की चपेट में आने से मौत हो गई.

कमला भंडारी की मृत्यु के बाद उनके बेटे तपेंद्र जलगांव पहुंचे और जैसे ही तपेंद्र घटना स्थल पर पहुंचे, उन्होंने दुख और गुस्से में अपनी कार तोड़ डाली. अपनी मां का शव देखने के बाद तपेंद्र को उनकी मौत होने का यकीन नहीं हुआ, लेकिन जब दुर्घटनास्थल पर उन्होंने अपनी मां का एक कपड़ा देखा तो उनका और उनके परिवार का दुख आंखों से दरिया बनकर बह निकला. 

दुख में डूबे तपेंद्र उस स्थल पर पड़े पत्थरों को एकत्रित कर रहे थे जहां पर उनकी मां का कपड़ा मिला था और खून के निशान थे. वे कपड़े और रेलवे की पटरी के बीच में पड़े पत्थर, मिट्टी में अपनी मां को ढूंढते हुए दिखे. मौके पर मौजूद पुलिस कर्मी और अन्य लोग उन्हें ढाढस बंधाने की कोशिश करते रहे.     

तपेंद्र ने NDTV से कहा कि उन्होंने पुष्पक ट्रेन के साथ लखनऊ स्टेशन पर मां की फोटो ली थी. वही उनकी अंतिम याद बन गई.   

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इस हादसे के बाद जिला सामान्य अस्पताल में कमला भंडारी के शव का पोस्ट मार्टम किया गया. प्रशासन ने शव को ट्रेन से नेपाल भेजने की व्यवस्था की है. तपेंद्र ने कहा कि वे उसी ट्रेन से अपनी मां का शव नहीं ले जाना चाहते जिसमें यह हादसा हुआ. उन्होंने सरकार और प्रशासन से अपील की है कि उनकी मां के शव को एंबुलेंस या एयर एंबुलेंस से ले जाने की व्यवस्था की जाए. 

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