यदि आपके पास 2000 रुपये का नोट है तो बैंक में जाकर बदलने में देर न करें, सिर्फ अंतिम चार दिन बाकी

रिजर्व बैंक ने 23 मई से 2000 रुपये के नोट को वापस लेना शुरू कर दिया था और 30 सितंबर तक ही आप इसे बैंक में वापस कर सकते हैं

Advertisement
Read Time: 26 mins

2000 रुपये के नोट बैंकों में 30 सितंबर तक ही बदले जाएंगे.

नई दिल्ली:

सबसे बड़ा नोट, यानी 2000 रुपये का नोट (Rs 2000 note) अब कुछ ही दिनों का मेहमान है. इसके बारे में पहले सूचना जरूर दी गई थी, लेकिन अब वह तारीख देखते-देखते आ ही गई. इस नोट से 30 सितंबर के बाद आप कोई लेन-देन नहीं कर पाएंगे, तो जाहिर है इसका कहीं इस्तेमाल नहीं हो पाएगा. लेकिन उसके बाद एक लीगल टेंडर के तौर पर इस नोट की वैधता रहेगी या नहीं, अभी यह स्थिति साफ नहीं है. इसलिए बेहतर है कि उससे पहले ही इसे आप बैंक में जमा कर दें. 

रिजर्व बैंक ने 23 मई से 2000 रुपये के नोट को वापस लेना शुरू कर दिया और 30 सितंबर तक ही आप इसे अपने करीबी बैंक में वापस कर सकते हैं. यह आपके लिए आखिरी मौका है, अंतिम एक हफ्ता बचा है. आप इन नोटों को तय तारीख तक भारतीय रिजर्व बैंक के 19 क्षेत्रीय कार्यालयों में भी जमा कर सकते हैं. लेकिन ध्यान रखिए, सितम्बर के इस आखिरी हफ्ते में 27 सितम्बर को मिलादुन्नबी की छुट्टी है. अब मंगलवार, बुधवार, शुक्रवार और शनिवार ये दिन ही बचे हैं. 

नवंबर 2016 में जारी किया गया था 2000 का नोट

दो हजार का नोट नवंबर 2016 में जारी किया गया था. आठ नवंबर 2016 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अचानक सबको चौंकाते हुए नोटबंदी का ऐलान किया था. इसके बाद जो नए नोट जारी हुए उनमें 2000 रुपये का नोट भी था जो कैश में बड़े लेन देन के लिए चर्चा में रहा था. लेकिन इस साल मई में रिजर्व बैंक ने इसे वापस लेने का ऐलान किया और उसी के साथ 2000 रुपये के नोट बैंकों द्वारा लोगों को देने पर भी रोक लगा दी गई. 

Advertisement

रिजर्व बैंक के मुताबिक 19 मई तक 2000 रुपये के जितने नोट अर्थव्यवस्था में चलन में थे उनमें से 93 प्रतिशत नोट एक सितंबर तक वापस भी आ चुके हैं. 19 मई 2023 तक 2000 रुपये के जो नोट चलन में थे उनकी कुल कीमत 3.56 लाख करोड़ रुपये थी जिसमें से 93 प्रतिशत वापस भी आ चुके हैं. 31 अगस्त तक इनमें से 3.32 लाख करोड़ रुपये कीमत के 2000 रुपये के नोट वापस आ चुके हैं. यानी कि अभी भी 24 हजार करोड़ रुपये के 2000 रुपये के नोट चलन में हैं और यह 31 अगस्त का आंकड़ा है. हो सकता है अभी जो करीब 20 दिन गुजरे हैं इसमें और कम हो गया हो. लेकिन जो ताजा जानकारी है उसके हिसाब से सात प्रतिशत नोट अभी भी सर्कुलेशन में हैं, 93 प्रतिशत वापस आ गए हैं. 

Advertisement
देश में बहुत बड़ा वर्ग अब भी नकदी का इस्तेमाल कर रहा

अब सवाल यह है कि रिजर्व बैंक को जब यह नोट वापस ही लेना था तो यह जारी ही क्यों किया?दरअसल नोटबंदी के ऐलान के तहत जब 16 नवंबर 2016 को सरकार ने 500 और 1000 रुपये के नोटों पर पाबंदी का ऐलान किया तो अर्थव्यवस्था में अचानक नकदी की कमी होने से एक क्राइसिस आ गई. इसका डर भी पहले से ही जताया जा रहा था कि एकदम से इतने नोट हटाएंगे तो नोटों की कमी हो जाएगी. देश के अधिकतर लोग अभी नगद में लेन देन करते हैं. बहुत हद तक हम लोग डिजिटल हो चुके हैं. लेकिन अभी भी एक बहुत बड़ा ऐसा वर्ग है जो कि कैश यूज करता है. देश में कैश सर्कुलेशन नोटबंदी के पहले की दरों से भी ज्यादा है. यह भी एक वास्तविकता है. 

Advertisement

ऐसे में सबसे पहले 2000 रुपये का नोट जारी किया गया था ताकि नकदी के तौर पर लोगों के पास ज्यादा रकम रह सके, जब तक कि बाकी मूल्यों के नोट पर्याप्त मात्रा में छप नहीं जाते. सरकार ने 2018-19 में 2000 रुपये के नोट छापने बंद कर दिए क्योंकि तब तक बाकी मूल्यों के नोट पर्याप्त संख्या में चलन में लाए जा चुके थे. 

Advertisement
क्लीन नोट पॉलिसी के तहत 2000 रुपये मूल्य के नोटों की वापसी

भारतीय रिजर्व बैंक ने क्लीन नोट पॉलिसी के तहत 2000 रुपये मूल्य के नोट चलन से वापस लेने का ऐलान किया. क्लीन नोट पॉलिसी में क्लीन नोट मतलब साफ सुथरा कड़कदार नोट है. दरअसल इस नीति के तहत जनता को अच्छी क्वॉलिटी की मुद्रा, नोट और सिक्के मुहैया कराए जाते हैं क्योंकि उपयोग करते-करते वे खराब हो जाते हैं. नए नोट ज्यादा सुरक्षित होंगे, नोट में सिक्युरिटी फीचर नए आ जाएंगे. जो पुराना हटेगा तभी तो नया आएगा और यह इसलिए किया जाता है ताकि नकली नोट या सिक्के आसानी से ना बनाए जा सकें. इस नीति के तहत पुराने और खराब नोटों को चलन से बाहर किया जाता है. 

इस नीति के तहत रिजर्व बैंक 2005 से पहले जारी किए गए सभी बैंक नोट को वापस ले चुका है.उनमें सुरक्षा के फीचर कम थे. बताया जाता है कि 2005 के बाद छपे हुए नोटों में सुरक्षा फीचर काफी बेहतर हैं. 

आरबीआई की तरफ से और बैंकों की तरफ से जनता को एजुकेट करने का, कम्युनिकेशन करने का प्रयास है कि अगर आपने 2000 रुपये का नोट अभी तक बैंक में डिपॉजिट नहीं किया है तो आप कृपया वापस कर दें. फिर संभावना है कि शायद तीन से पांच परसेंट नोट रह जाएंगे क्योंकि जो अनअकाउंटेड मनी है वे लोग अगर बैंक में आते हैं तो शायद उनको जस्टिफाई करना पड़ेगा. 

Topics mentioned in this article