महाराष्ट्र के मराठवाड़ा में भारी बारिश ने मचाई तबाही, सीएम शिंदे ने राहत-बचाव कार्य और लोगों की मदद के दिए निर्देश

मुख्यमंत्री ने यह भी निर्देश दिए हैं कि संभागीय आयुक्त, जिला प्रशासन, आपदा प्रबंधन, राहत एवं पुनर्वास विभाग, स्थानीय नगर पालिका, महानगर पालिका, ग्राम पंचायत, पुलिस प्रशासन आदि द्वारा आपस में समन्वय बनाकर कार्य करें.

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मुंबई:

महाराष्ट्र के कई हिस्सों में भारी बारिश के कारण लोगों को काफी परेशानी और नुकसान का सामना करना पड़ रहा है. महाराष्ट्र में मराठवाड़ा के जिलों को भारी बारिश के कारण सबसे अधिक नुकसान हुआ है. साथ ही विदर्भ और राज्य के अन्य जिलों में भी भारी बारिश का प्रकोप देखने को मिल रहा है. ऐसे में इन हिस्सों में हुए नुकसान के पंचनामे और राहत की कार्रवाई तुरंत किए जाने के लिए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने निर्दश दिए हैं. फसल क्षति, मकान गिरने, पशुधन हानि जैसे सभी मामलों की जानकरी लेकर तत्काल पंचनामा बनाकर कार्रवाई की जाए. भारी बारिश के कारण अस्थायी रूप से विस्थापित हुए लोगों को सभी आवश्यक सुविधाएं उपलब्ध कराई जाएं. उन्हें तुरंत सभी जरूरी मदद मुहैया कराने का भी निर्देश दिया गया है.

राहत-बचाव कार्य के दिए निर्देश

मुख्यमंत्री ने यह भी निर्देश दिए हैं कि संभागीय आयुक्त, जिला प्रशासन, आपदा प्रबंधन, राहत एवं पुनर्वास विभाग, स्थानीय नगर पालिका, महानगर पालिका, ग्राम पंचायत, पुलिस प्रशासन आदि द्वारा आपस में समन्वय बनाकर कार्य करें. आपदा प्रबंधन कक्ष को 24 घंटे खुला रखा जाए, जिसके माध्यम से राहत और पुनर्वास का समन्वय किया जाए. विस्थापित किए हुए लोगों के लिए अच्छी गुणवत्ता वाले अस्थायी आश्रय स्थल बनाए जाएं और जीवन आवश्यक सामान जैसे कपड़े, भोजन, साफ पानी, दवाएं आदि की आपूर्ति तत्काल कराई जाए, ऐसे निर्देश भी मुख्यमंत्री शिंदे ने प्रशासन को दिए हैं.

प्रभावित लोगों की तुरंंत मदद के भी दिए गए निर्देश

सिंचाई विभाग, मौसम विभाग के समन्वय से लोगों को आवश्यक जानकारी तत्काल उपलब्ध कराए जाने के भी निर्देश दिए गए हैं. प्रभावित लोगों की मदद के लिए तुरंत एक आपातकालीन हेल्पलाइन और नियंत्रण कक्ष स्थापित किया जाना चाहिए. छात्रों की सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए जिला प्रशासन को स्थानीय स्थिति को ध्यान में रखते हुए स्कूल और कॉलेजों के संबंध में निर्णय लेने के भी निर्देश दिए गए हैं. साथ ही बारीश की स्थिति, बाधित क्षेत्र, बांधों का जलस्तर, विस्थापित लोगों की संख्या, अतिवृष्टि से हुए नुकसान की जानकारी समय समय पर प्रस्तुत करने की सूचना भी मुख्यमंत्री शिंदे ने दी है.

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