बॉम्बे उच्च न्यायालय ने मुंबई के पुलिस आयुक्त हेमंत नागराले को अपनी परित्यक्ता पत्नी प्रतिमा उर्फ रानी हेमंत नागराले का बकाया गुजारा भत्ता यथाशीघ्र चुकाने का निर्देश दिया है.
न्यायमूर्ति ए. ए. सईद और न्यायमूर्ति एस. जी. डिगे की खंडपीठ ने 15 नवम्बर को इस बाबत अपना आदेश पारित किया. प्रतिमा नागराले ने अर्जी दायर करके गुजारा भत्ता बढ़ाने और नागपुर अथवा पुणे जैसी अच्छी जगह पर आवास उपलब्ध कराने के निर्देश देने की मांग की थी.
प्रतिमा के वकील पी. वी. नेल्सन राजन ने अदालत को सूचित किया था कि पिछले चार महीनों से हेमंत नागराले ने गुजारा भत्ता की राशि का भुगतान नहीं किया था. उन्होंने आगे कहा कि यह पहली बार नहीं था जब नागराले ने गुजारा भत्ते की बकाया राशि के भुगतान में देरी की थी.
अदालत ने कहा, ‘‘प्रतिवादी पति से यह उम्मीद की जाती है कि वह अगली तारीख तक बकाया गुजारा भत्ते का भुगतान कर देंगे.'' इसके साथ ही न्यायालय ने मामले की अगली सुनवाई के लिए छह दिसंबर की तारीख मुकर्रर की.
पीठ ने इस अर्जी पर हलफनामा दायर करने का नागराले को निर्देश दिया.प्रतिमा नागराले की याचिका में कहा गया है, “प्रतिवादी पति एक वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी हैं और इसलिए, उनका वेतन भी समय-समय पर बढ़ता रहता है. वेतन के अलावा, प्रतिवादी पति को अचल संपत्तियों के हिस्सों और किराए जैसे विभिन्न अन्य स्रोतों से भी आय हो रही है.''
उन्होंने नागराले को अपने तीन साल के वेतन की पर्ची (सैलरी स्लिप), अचल सम्पत्तियों का विस्तृत ब्योरा तथा उनके आयकर रिटर्न दस्तावेज पेश करने के निर्देश देने का न्यायालय से अनुरोध किया था.
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