अब 15 से 20 सेकंड में COVID टेस्‍ट का रिजल्‍ट, बेहद भरोसेमंद और कीमत 500 रु. से कम, जानें इसकी प्रक्रिया..

यह टेस्ट आरटी पीसीआर के बराबर है. नीति आयोग में इस टेस्‍ट का डेमो किया जा चुका है.

विज्ञापन
Read Time: 11 mins
पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर भारत में SpectraLIT test 15 अगस्त से अलग-अलग जगहों पर होगा
Quick Take
Summary is AI generated, newsroom reviewed.
इजरायल की इस तकनीक का नाम है स्पेक्ट्रालिट
15-20 सेकंड में कंप्यूटर स्क्रीन पर दिख जाता है रिजल्‍ट
भारत के मेडीसर्किल ने इजरायली कंपनी के साथ किया टाईअप
नई दिल्ली:

Corona Test: अब COVID टेस्ट (COVID Test) महज़ 15-20 सेकंड में मुमकिन है.सैंपल लेने से परिणाम तक. इजरायल की इस तकनीक का नाम स्पेक्ट्रालिट है. ऐसा दावा किया जा रहा है कि पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर भारत में ये टेस्ट 15 अगस्त से अलग-अलग जगहों पर होगा. थोड़ा सा सलाइन वाटर और कुछ वक्त तक गरारे ....इसके बाद वापस इसको कंटेनर में डाला जाता है और फिर इसका 2 ml हिस्सा एक ट्यूब में भरकर इस डिवाइस में रखा जाता है. बस, आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस के जरिए कोरोना का परिणाम महज़ 15-20 सेकंड के भीतर कंप्यूटर स्क्रीन पर.

दिल्ली में पिछले 24 घंटे में 72 नए COVID-19 केस, एक की मौत

इस इंस्टेंट कोविड टेस्ट तकनीक वाली इजरायली कंपनी के साथ भारत के मेडीसर्किल ने टाई अप किया है. मेडीसर्किल के को-फाउंडर डॉक्टर रजित शाह बताते हैं, 'क्यूबेट के अंदर वो सैंपल भर देते हैं. Cubet ट्रांसपेरेंट डिवाइस है. उसमे सैंपल डाला फिर मशीन के अंदर डाला. लैपटॉप पर टेस्ट को रन किया. टेस्ट रन के दौरान फोटो spectrametry लाइट निकलती है जो सैंपल को स्कैन करती है. इस स्कैनिंग के बेसिस पर पता चलता है सैंपल पॉजिटिव है या नेगेटिव.

पोखरण से ISI का एजेंट अरेस्ट, आगरा में तैनात जवान पैसों के लालच में कर रहा था मदद

स्पेक्ट्रा लिट टेस्ट के लिए महज़ दो लोगों की जरूरत होती है. एक सैंपल लेने वाला और दूसरा लैपटॉप सिस्टम को कमांड देने वाला. इस टेस्ट को यूरोपियन सीई IVD की मान्यता है यानी देश में आईसीएमआर से अप्रूवल की कोई जरूरत नहीं. इसकी कीमत 500 रुपये से कम होगी.खास बात यह है कि इसमें री एजेंट की जरूरत नहीं. इसकी सेंसिटिविटी 95% और स्पेसिफिसीटी 93% है. ये टेस्ट आरटी पीसीआर के बराबर है. नीति आयोग में इस टेस्‍ट का डेमो किया जा चुका है. अब तैयारी नागरिक उड्डयन मंत्रालय, गृह मंत्रालय और डीआरडीओ के सामने इसके डेमो की है. ईज ऑफ डूइंग बिजनेसेस (Ease of Doing Business) के निदेशक अभिजीत सिन्हा, 'यह वेरिएंट को डिटेक्ट कर सकता है, चाहेकोई भी वेरिएंट हो। यूरोप के 120 एयरपोर्ट पर इसके जरिए टेस्टिंगहो रही है. कोई दूसरा वेरिएंट डिटेक्ट हुआ है तो डिटेल आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस के जरिए सर्वर पर जाती है.रिजल्ट पूरे प्रोसेस का 15 सेकंड का है. 

Advertisement
Featured Video Of The Day
Pahalgam Terror Attack पर क्यों आमाने-सामने हुए Sharad Pawar - Devendra Fadnavis