दिल्ली-NCR में प्रदूषण : SC में केंद्र ने कहा, WFH से लाभ नहीं, कार पूलिंग की सलाह दी

केंद्र के हलफनामे के मुताबिक- हाल के दिनों में कोविड -19 महामारी के कारण कई सरकारी कार्य काफी लंबे समय तक प्रभावित हुए थे, जिसका अखिल भारतीय प्रभाव पड़ा है.

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नई दिल्ली:

दिल्ली और NCR में प्रदूषण (Delhi-NCR Pollution) के मामले में केंद्र अपने कर्मचारियों के वर्क फ्रॉम होम करने के पक्ष में नहीं है. केंद्र ने कहा कि कोविड के चलते पहले ही कामकाज प्रभावित हुआ है. वर्क फ्राम होम से ज्यादा फायदा नहीं होगा. केंद्र ने इस संबंध में सुप्रीम कोर्ट में हलफनामा दाखिल किया है.  केंद्र की ओर से कहा गया है कि वर्क फ्रॉम होम से ज्यादा प्रभाव नहीं होगा, इसलिए केंद्र ने अपने कर्मचारियों को कार पूल करने की एडवाइजरी जारी की है. पिछली सुनवाई में सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र के कर्मियों के WFH करने पर विचार करने को कहा था. केंद्र ने कहा है कि उन्होंने उपरोक्त के अलावा ऑनलाइन मोड यानी "वर्क फ्रॉम होम" के तहत काम करने की संभावना पर भी विचार किया है. 

हलफनामे के मुताबिक- हाल के दिनों में कोविड -19 महामारी के कारण कई सरकारी कार्य काफी लंबे समय तक प्रभावित हुए थे, जिसका अखिल भारतीय प्रभाव पड़ा है. केंद्र सरकार ने इस प्रकार NCR में केंद्र सरकार के व्यवसाय के लिए उपयोग किए जाने वाले वाहनों की संख्या पर विचार किया. उक्त संख्या बहुत महत्वपूर्ण नहीं है. केंद्र सरकार ने निर्णय लिया कि कोविड -19 महामारी के बाद केंद्र सरकार के कार्यालयों के कामकाज के हालिया सामान्यीकरण के बाद वर्क फ्रॉम होम निर्देश न पास करने का लाभ वर्क फ्रॉम होम  से प्राप्त होने वाले लाभों से अधिक होगा, जो कि सड़क पर केवल केंद्र सरकार के वाहनों की कम संख्या तक सीमित होगा. 

इस संबंध में भारत सरकार के डीओपीटी ने केंद्र सरकार के अधिकारियों और कर्मचारियों के लिए अधिकतम संभव सीमा तक वाहनों को पूल करने और साझा करने के लिए एक एडवायजरी  जारी की है ताकि अधिकारियों और कर्मचारियों के आने-जाने के लिए चलने वाले केंद्र सरकार के वाहनों की संख्या में काफी कमी आए.

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