'रंजन गोगोई ने अपने बयान से संसद को बेइज्‍जत करने की कोशिश की' : NDTV से सांसद अधीर रंजन चौधरी

अधीर रंजन चौधरी (Adhir Ranjan Chowdhury)ने NDTV से बातचीत में कहा, 'रंजन गोगोई जब मुख्य न्यायाधीश थे तो Constitutional डेमोक्रेसी की बात करते थे. लेकिन जब वह खुद सांसद बने तब उन्हें इसकी अहमियत दिखाई नहीं देती.'

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अधीर रंजन चौधरी ने कहा, रंजन गोगोई ने अपने बयान से संसद को बेइज्जत करने की कोशिश की
नई दिल्‍ली:

कांग्रेस सांसदों और केरल से CPM के राज्यसभा सांसद डॉ. वी सिवदासन  (V. Sivadasan) ने  पूर्व मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई (Former CJI Ranjan Gogoi) के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का नोटिस किया है. लोकसभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता अधीर रंजन चौधरी (Adhir Ranjan Chowdhury)ने NDTV से बातचीत में कहा, 'रंजन गोगोई जब मुख्य न्यायाधीश थे तो Constitutional डेमोक्रेसी की बात करते थे. लेकिन जब वह खुद सांसद बने तब उन्हें इसकी अहमियत दिखाई नहीं देती.  यह शर्मिंदगी की बात है. गोगोई साहब को Reward दिया गया.उन्हें सांसद के तौर परपुरस्कृत किया गया है क्योंकि सरकार की इच्छा से ही लोग सांसद के तौर पर नामित होते हैं. उन्होंने अपने बयान से संसद को बेइज्जत करने की कोशिश की है.'इस विवादित बयान को लेकर रंजन गोगोई के खिलाफ राजनीतिक दबाव लगातार बढ़ता जा रहा है. मंगलवार को तृणमूल कांग्रेस के सांसद जे. सरकार (Jowhar Sircar) के साथ-साथ CPM और सीपीआई ने भी गोगोई के खिलाफ विशेषाधिकार हनन का प्रस्ताव लाने का नोटिस दिया. सरकार ने कहा " मैंने राज्य सभा के चेयरमैन को शिकायत की कॉपी दे दी है...मैं रंजन गोगोई के बयान से चिंतित हूं".

सीपीएम सांसद सिवदासन ने भी कहा, ' रंजन गोगोई का बयान गैर जिम्मेदाराना है. गोगोई ने जिस भाषा का इस्तेमाल किया है वह निंदनीय है. उन्होंने संसद की गरिमा की अवमानना की है. मैं मांग करता हूं उनके खिलाफ विशेषाधिकार हनन का मामला चलाया जाए. इस मामले को संसद की विशेषाधिकार समिति (Committee of Privileges) के पास भेजा जाना चाहिए. गौरतलब है कि पूर्व सीजेआई गोगाई ने  NDTV से बात करते हुए राज्यसभा में अपनी उपस्थिति के खराब रिकॉर्ड के बारे में कहा था, "व्यक्तिगत रूप से मुझे वहां जाने में बहुत सहज महसूस नहीं हुआ. महामारी चल रही है और आज भी मैं राज्यसभा में जाने में बहुत सहज महसूस नहीं कर रहा हूं ... हालांकि सामाजिक दूरी के मानदंड लागू किए गए हैं, लेकिन उनका पालन नहीं किया जा रहा है."  

उन्होंने कहा था, "मुद्दा यह है कि जब मुझे लगेगा कि राज्यसभा जाना चाहिए.. जब मुझे लगेगा कि जरूरी मामले हैं जिन पर मुझे बोलना चाहिए, मैं जाऊंगा... मैं एक मनोनीत सदस्य हूं. मैं किसी पार्टी के व्हिप द्वारा शासित नहीं हूं. मैं सदन का एक स्वतंत्र सदस्य हूं. मैं अपनी मर्जी से जाऊंगा और अपनी मर्जी से बाहर आऊंगा."

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पूर्व सीजेआई जस्टिस रंजन गोगोई अपने एक बयान की वजह से घिर गए

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