गहलोत-पायलट में मचे सियासी घमासान के बीच अजय माकन ने छोड़ा राजस्थान प्रभारी का पद

अजय माकन ने चिट्ठी में 25 सितंबर को गहलोत गुट के विधायकों की बगावत और उस पर एक्शन नहीं होने का मुद्दा उठाया है. उन्होंने लिखा कि दिसंबर के पहले सप्ताह में भारत जोड़ो यात्रा राजस्थान आ रही है. 4 दिसंबर को उपचुनाव हो रहे हैं. ऐसे में राजस्थान का नया प्रभारी नियुक्त किया जाना जरूरी है.

विज्ञापन
Read Time: 24 mins
25 सितंबर को विधायक दल की बैठक में मौजूदा अध्यक्ष खरगे के साथ अजय माकन पर्यवेक्षक बनकर जयपुर आए थे.
जयपुर:

राजस्थान में अशोक गहलोत (Ashok Gehlot) और सचिन पायलट (Sachin Pilot) में मचे सियासी घमासान के बीच कांग्रेस नेता अजय माकन (Ajay Makan) ने राजस्थान प्रभारी का पद छोड़ दिया है. माकन ने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को चिट्ठी लिखकर अब राजस्थान प्रभारी के तौर पर काम करने से मना कर दिया है. उन्होंने 8 नवंबर को एक बार फिर खरगे को चिट्ठी लिखकर मौजूदा सियासी हालात में दूसरा प्रभारी खोजने की अपील की है. इस चिट्ठी के बाद अब माना जा रहा है कि माकन राजस्थान प्रभारी के तौर पर काम नहीं करेंगे. माकन पहले ही बाकी पदाधिकारियों के साथ इस्तीफा दे चुके हैं. 

अजय माकन ने चिट्ठी में 25 सितंबर को गहलोत गुट के विधायकों की बगावत और उस पर एक्शन नहीं होने का मुद्दा उठाया है. उन्होंने लिखा कि दिसंबर के पहले सप्ताह में भारत जोड़ो यात्रा राजस्थान आ रही है. 4 दिसंबर को उपचुनाव हो रहे हैं. ऐसे में राजस्थान का नया प्रभारी नियुक्त किया जाना जरूरी है. भारत जोड़ो यात्रा और उपचुनाव से पहले प्रदेश प्रभारी का पद छोड़ना कांग्रेस की खींचतान में नया चैप्टर माना जा रहा है.

सूत्रों ने कहा कि अजय माकन को उम्मीद थी कि पार्टी बागी विधायकों के खिलाफ कार्रवाई करेगी, लेकिन ऐसा कुछ नहीं हुआ. इससे उनके कांग्रेस के राजस्थान प्रभारी का पद छोड़ने के फैसले में योगदान दिया. 25 सितंबर को विधायक दल की बैठक में मौजूदा अध्यक्ष खरगे के साथ अजय माकन पर्यवेक्षक बनकर जयपुर आए थे. गहलोत गुट के विधायकों ने विधायक दल की बैठक का बहिष्कार किया था. इसके बाद खरगे ओर माकन ने दिल्ली जाकर सोनिया गांधी को रिपोर्ट दी थी.

इस रिपोर्ट के आधार पर ही मंत्री शांति धारीवाल, महेश जोशी और आरटीडीसी अध्यक्ष धर्मेंद्र राठौड़ को नोटिस जारी किए गए थे. तीनों नेताओं ने जवाब भी दे दिया, लेकिन अब मामला ठंडे बस्ते में डाल दिया है. तीनों नेताओं को विधायक दल की बैठक का बहिष्कार करके धारीवाल के घर बैठक बुलाने के लिए जिम्मेदार माना गया था. अजय माकन की चिट्ठी में 25 सितंबर के सियासी बवाल का जिक्र करते हुए अब तक कार्रवाई नहीं होने की तरफ इशारा किया है.
 

Advertisement

अजय माकन का इस्तीफा सचिन पायलट द्वारा राजस्थान में राजनीतिक अनिश्चितता को समाप्त करने के लिए मीटिंग बुलाए जाने के दो सप्ताह बाद आया है. पायलट ने 2 नवंबर को कहा था, 'अब राजस्थान में अनिर्णय के माहौल को समाप्त करने का समय आ गया है. गहलोत के प्रति वफादार विधायकों के खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए.'

Advertisement

ये भी पढ़ें:-

सचिन पायलट ने अपना रुख स्‍पष्‍ट किया लेकिन क्‍या कांग्रेस परवाह करेगी?

अशोक गहलोत ने कहा - PM मोदी ने मेरे बारे में जो कहा, वह एक तथ्‍य है न कि मेरी तारीफ

Advertisement

"गहलोत को निष्ठा साबित करने के लिए किसी सर्टिफिकेट की जरूरत नहीं" : पायलट को राजस्‍थान के मंत्री का जवाब..

Advertisement
Featured Video Of The Day
Gadgets 360 With Technical Guruji: Vivo X200 Series, Poco M7 Pro और Audi A6 e-tron