ना पक्का रास्ता, ना पुल... जान जोखिम में डालकर बच्चों का स्कूल जाने का खतरनाक सफर, देखें VIDEO

गांव के लोगों ने स्थायी पुल और रास्ते की मांग को लेकर प्रशासन और जनप्रतिनिधियों से तत्काल ध्यान देने की अपील की है.  उनका कहना है कि अगर समय रहते कुछ नहीं किया गया तो आनेवाले समय में इन बच्चों की शिक्षा पूरी तरह से रुक सकती है.

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स्कूल जाने के लिए न ही कोई पक्का रास्ता है और न ही पुल है.
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  • बीड के धारूर तालुका के धुनकवाड गांव के बच्चों के लिए स्कूल जाना खतरे से कम नहीं है.
  • बरसात के समय स्कूल तक पहुंचना बच्चों के लिए लगभग असंभव हो जाता है. कच्चे रास्तों में पानी भर जाता.
  • बच्चे जान को जोखिम में डालकर खतरनाक रास्ते से होकर स्कूल जाने के लिए मजबूर हैं.
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बीड:

महाराष्ट्र के बीड से एक ऐसा वीडियो सामने आया है, जिसे देखकर आप दंग रह जाएंगे. छोटे-छोटे बच्चे अपनी जान को खतरे में डालकर स्कूल जा रहे हैं. दरअसल मानसून की बारिश के कारण कई जगह जलभराव हो गया है. घने जंगलों में भी कई जगह पानी भर गया है. गांव के बच्चों का स्कूल तक का सफर आज भी जानलेवा है. छोटे-छोटे बच्चों को आज भी स्कूल जाने के लिए घने जंगलों से होकर गुजरना पड़ता है. वहीं बारिश के कारण जंगल के रास्तों में घुटनों तक पानी भरा हुआ है. ऐसे में बच्चों को पानी से होकर गुजरना पड़ रहा है. ये वायरल वीडियो धारूर तालुका के धुनकवाड गांव का है.  

गांव वालों के अनुसार बरसात के मौसम में बाढ़ आ जाती है और स्कूल तक पहुंचना नामुमकिन हो जाता है. बच्चों के लिए ना पक्का रास्ता है, ना पुल है. ऐसे में जान जोखिम में डालकर शिक्षा की ओर उनका ये सफर जारी है.

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गांव के लोगों ने स्थायी पुल और रास्ते की मांग को लेकर प्रशासन और जनप्रतिनिधियों से तत्काल ध्यान देने की अपील की है.  उनका कहना है कि अगर समय रहते कुछ नहीं किया गया तो आनेवाले समय में इन बच्चों की शिक्षा पूरी तरह से रुक सकती है.

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