दीपोत्सव से पहले अयोध्या में सांस्कृतिक झांकियों के साथ निकाली गई भव्य शोभायात्रा

रामचरितमानस और राम कथा से प्रेरित झांकियां भी शामिल की गईं, जिनमें से कुछ में शबरी-राम मिलाप और लंका दहन का चित्रण किया गया. केवल उत्तर प्रदेश से ही नहीं, बल्कि बल्कि देशभर से आये कलाकारों ने शोभायात्रा में हिस्सा लिया.

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अयोध्या: दिवाली की पूर्व संध्या पर यहां सातवें दीपोत्सव से पहले रामायण, रामचरितमानस और विभिन्न सामाजिक मुद्दों पर आधारित 18 झांकियों के साथ एक भव्य शोभायात्रा निकाली गई. शोभायात्रा में लोक कलाकारों ने भी प्रस्तुति दी. कई स्थानों पर झांकियों की आरती उतारी गई. शोभायात्रा, उदया चौराहे से शुरू हुई और शहर के विभिन्न हिस्सों से गुजरते हुए राम कथा पार्क पहुंची.

एक बयान के अनुसार, उत्तर प्रदेश सरकार में पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने शोभायात्रा को रवाना किया. दीपोत्सव के दौरान, राम की पैड़ी पर 24 लाख दीये प्रज्वलित किये जाएंगे और शाम में ‘लाइट एंड साउंड' कार्यक्रम आयोजित किया जाएगा. बयान में कहा गया है कि झांकियां राज्य के पर्यटन एवं सूचना विभागों ने तैयार की है.

ये झांकियां बाल अधिकार, भयमुक्त समाज, गुरुकुल शिक्षा व बच्चों का अधिकार, बेसिक शिक्षा, महिलाओं की सुरक्षा व कल्याण, आत्मनिर्भरता, वन एवं पर्यावरण संरक्षण, और विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी जैसे विषयों पर आधारित हैं. अपराधियों एवं भू-माफियाओं के विरुद्ध अभियान की झांकियां भी शामिल की गईं. कई सरकारी कार्यक्रमों को भी प्रदर्शित किया गया.

रामचरितमानस और राम कथा से प्रेरित झांकियां भी शामिल की गईं, जिनमें से कुछ में शबरी-राम मिलाप और लंका दहन का चित्रण किया गया. केवल उत्तर प्रदेश से ही नहीं, बल्कि बल्कि देशभर से आये कलाकारों ने शोभायात्रा में हिस्सा लिया.

अयोध्या के लोग विभिन्न राज्यों के लोक नृत्यों सहित प्रस्तुति को देखने के लिए सड़कों के किनारे एकत्र थे. पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री ने कहा,‘‘राम की नगरी में दीपोत्सव का कार्यक्रम होने जा रहा है. विश्व में सबसे ज्यादा दीप प्रज्वलित करने का एक बार फिर नया कीर्तिमान बनेगा.'' उन्होंने कहा कि इस बार के दीपोत्सव में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ भगवान राम का राज्याभिषेक करेंगे. सिंह ने कहा, ‘‘सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि भगवान राम के राज्याभिषेक के दौरान दुनिया के 50 महत्वपूर्ण देशों के राजनयिक भी मौजूद रहेंगे.''

उन्होंने कहा कि यह दीपोत्सव सभी को त्रेतायुग की याद दिलाता है, जब भगवान राम लंका पर विजय प्राप्त करने के बाद अयोध्या लौटे थे. मंत्री ने कहा,‘‘यह अयोध्या ही पूरे हिन्दुस्तान का सौभाग्य है. भारतीय सनातन संस्कृति की ओर से यह संदेश पूरे विश्व पटल पर जाएगा.'' अयोध्या में दीपोत्सव की शुरुआत 2017 में योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में भाजपा सरकार के गठन के साथ हुई थी. उस वर्ष (2017 में) 51,000 दीयों से शुरुआत होने के बाद, 2019 में यह संख्या 4.10 लाख, 2020 में 6 लाख से अधिक और 2021 में 9 लाख से अधिक हो गई, जिसने गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाया.

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इसके बाद, 2022 में राम की पैड़ी के घाटों पर 17 लाख से अधिक दीये प्रज्वलित किये गए, लेकिन गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स ने केवल उन दीयों की गिनती की, जो पांच मिनट या उससे अधिक समय तक प्रज्वलित रहे और यह रिकॉर्ड 15.76 लाख दीयों का है. पिछले साल अक्टूबर में हुए दीपोत्सव में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी मुख्य अतिथि थे इस साल का आयोजन विशेष होगा क्योंकि अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण कार्य जोर-शोर से जारी है.

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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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