उत्तर प्रदेश के बरेली में 19 दिनों से गायब लेखपाल मनीष कश्यप के शव के अवशेष बरामद किए गए हैं. जांच में हत्याकांड का मामला सामने आया है और आरोपी ने ये पैसों के लिए किया था. मनीष के अपहरण के बाद एसओजी ने सर्विलांस और साइबर सेल की मदद से पुलिस ने आरोपी अवधेश और ओमवीर को गिरफ्तार कर लिया है. आरोपी अवधेश की निशनदेशी पर मनीष कश्यप का कंकाल बरामद किया गया है. हत्याकांड में अब तक 2 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है जबकि 2 आरोपी अभी भी फरार हैं.
रिपोर्ट के मुताबिक 28 नवंबर को मनीष को शराब पिलाकर आरोपियों ने मफलर से उसका गला घोटा और उसकी हत्या कर दी. गिरफ्तार आरोपी ओमवीर के घर से मृतक लेखपाल मनीष की मोहर, पैड और अन्य कागजात भी बरामद किए गए हैं. कैंट थाना क्षेत्र के मिर्जापुर गांव के नाले से मनीष के शव के अवशेष बरामद किए गए हैं. नाले के पास से ही लेखपाल के कपड़े भी बरामद हुए हैं, जिससे परिवार के लोगों ने कंकाल की पहचान की है.
पुलिस ने पूरे घटनाक्रम में दो आरोपियों को गिरफ्तार किया है जबकि दो फरार हैं. परिवार के लोग कई बार पुलिस में शिकायत भी दर्ज करा चुके हैं लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई. अब लेखपाल का कंकाल मिल जाने के बाद परिवार में कोहराम मचा हुआ है. बताया जा रहा है 27 नवंबर को लेखपाल मनीष कश्यप जमीन की पैमाइश के लिए गया था. तभी से लापता बताए जा रहा है. पीड़ित परिवार ने आरोप लगाया था कि लेखपाल मनीष चंद्र कश्यप 250 बीघा जमीन की घोटाला की जांच कर रहे थे और जांच रिपोर्ट जल्द ही शासन को भेजने वाले थे लेकिन इसी बीच तहसील परिसर से उनका अपहरण हो गया और उनकी हत्या कर दी गई.
परिवार के लोगों ने यह भी आरोप लगाया है कि कई बार पुलिस से शिकायत भी की गई लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हुई. परिवार के लोग लगातार आरोप लगा रहे हैं कि गांव के प्रधान समेत कुछ लोग हैं जो उनकी हत्या करना चाहते थे. उन्हीं लोगों ने उनकी हत्या की है क्योंकि यह एक जमीन की घोटाला की जांच कर रहे थे. (रणदीप सिंह की रिपोर्ट)