असम के गुवाहाटी से एक हैरान करने वाली घटना सामने आई है. यहां कुछ हिन्दूवादी संगठन के कार्यकर्ताओं ने एक छात्रा को सिर्फ इसलिए स्कूल में नहीं घुसने दिया क्योंकि उसने हिजाब पहना हुआ था. छात्रा के साथ वहां मौजूद एक लड़के ने जब लड़की को रोकने का विरोध किया तो आरोपियों ने उसे पीटना शुरू कर दिया. इस घटना में आरोपियों ने छात्रा की भी पिटाई की है. पुलिस ने फिलहाल मामला दर्ज कर इसकी जांच शुरू कर दी है.
स्थानीय लोगों ने पुलिस को बताया कि है कि पीड़ित लड़की 10वीं की छात्रा है, उसे आरोपियों ने पहले खींचकर स्कूल से बाहर निकाला और फिर उसकी पिटाई की. जिस समय आरोपी लड़की और उसके साथ एक और लड़के की पिटाई कर रहे थे, उस दौरान स्कूल के प्रिसिंपल, टीचर यहां तक कोई दूसरा स्टॉफ छात्रा और उसके साथ के लड़के को बचाने आगे नहीं आया. इस घटना को लेकर स्थानीय लोगों में रोष है. स्थानीय लोगों ने इस घटना को लेकर विरोध प्रदर्शन किया. सूत्रों के अनुसार जिन लोगों ने इस घटना को अंजाम दिया है वो बाहर से आए थे.
पुलिस का कहना है कि इलाके में स्थिति अब काबू में है. हालांकि, घटना के बाद सिपाहीजला जिले के बिशालगढ़ उपखंड क्षेत्र में तनाव जरूर है. वहीं, स्कूल के अनुसार, एक सप्ताह पहले, पूर्व छात्रों का एक समूह, जो एक दक्षिणपंथी संगठन से संबद्ध होने का दावा करता था, स्कूल आया और स्कूल परिसर में मुस्लिम छात्राओं को हिजाब पहनने की अनुमति देने पर चिंता जताई. इतना ही नहीं उन्होंने प्रिसिंपल से अनुरोध किया कि वह अपने स्कूल में इसे बंद करवाएं. इन छात्रों का कहना था कि ये तय स्कूल ड्रेस के तहत नहीं आता है इसलिए स्कूल में हिजाब पर बैन लगना चाहिए.
विश्व हिंदू परिषद से जुड़े पूर्व छात्रों के एक समूह ने इस स्कूल के प्रिसिंपल से मुलाकात की थी. लेकिन उसके बाद स्कूल प्रशासन की तरफ से हिजाब पहनने या ना पहनने को लेकर कोई स्पष्ट निर्देश नहीं दिए गए. ऐसा इसलिए भी क्योंकि सरकार की तरफ से इसे लेकर कोई निर्देश नहीं मिले थे. हालांकि, ऐसा कहा जा रहा है कि प्रिसिंपल ने मौखिक तौर पर हिजाब ना पहनने की बात जरूर कही थी.
इस पूरी घटना को लेकर पुलिस ने कहा है कि यह कोई सांप्रदायिक मुद्दा नहीं है. हमने मामला दर्ज कर इसकी जांच शुरू कर दी है. जो भी इसके लिए दोषी होंगे उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.