सेना ने पूर्वी लद्दाख के पैंगोंग त्सो में शिवाजी की प्रतिमा का अनावरण किया

इस प्रतिमा का अनावरण बृहस्पतिवार को 14वीं कोर के जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल हितेश भल्ला ने किया, जिसे ‘फायर एंड फ्यूरी कोर’ के नाम से भी जाना जाता है.

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भारतीय सेना ने 14,300 फुट की ऊंचाई पर पैंगोंग झील के तट पर मराठा योद्धा छत्रपति शिवाजी की एक प्रतिमा स्थापित की है. यह क्षेत्र पूर्वी लद्दाख सेक्टर में चीन के साथ लगती वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) के निकट है. सेना की लेह स्थित 14वीं कोर ने कहा कि प्रतिमा का अनावरण भारतीय शासक की ‘‘अटूट भावना'' का जश्न मनाने के लिए किया गया है, क्योंकि उनकी विरासत प्रेरणा का स्रोत बनी हुई है.

इस प्रतिमा का अनावरण बृहस्पतिवार को 14वीं कोर के जनरल ऑफिसर कमांडिंग लेफ्टिनेंट जनरल हितेश भल्ला ने किया, जिसे ‘फायर एंड फ्यूरी कोर' के नाम से भी जाना जाता है. कोर ने ‘एक्स' पर बताया कि वीरता, दूरदर्शिता और अटल न्याय की इस विशाल प्रतिमा का अनावरण लेफ्टिनेंट जनरल हितेश भल्ला ने किया.

शिवाजी की प्रतिमा का अनावरण भारत और चीन द्वारा टकराव वाले दो अंतिम स्थानों डेमचोक और देपसांग पर सैनिकों की वापसी की प्रक्रिया पूरी करने के कुछ सप्ताह बाद किया गया है. दोनों पक्षों ने 21 अक्टूबर को बनी सहमति के बाद टकराव वाले शेष दो स्थानों पर सैनिकों की वापसी पूरी कर ली.

पैंगोंग झील क्षेत्र में हिंसक झड़प के बाद पांच मई, 2020 को पूर्वी लद्दाख सीमा पर गतिरोध शुरू हो गया था. सैन्य और कूटनीतिक स्तर की कई वार्ता के बाद दोनों पक्षों ने 2021 में पैंगोंग झील के उत्तरी और दक्षिणी तट पर सैनिकों की वापसी की प्रक्रिया पूरी की थी. (इनपुट भाषा से भी)

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