Koo App से जुड़े रक्षा मंत्रांलय के 21 जनसंपर्क अधिकारी

अपने आधिकारिक हैंडल @SpokespersonMoD से Koo पोस्ट करते हुए रक्षा मंत्रालय के प्रधान प्रवक्ता ने एनसीसी कैडेटों से जुड़ा एक अपडेट साझा किया, जिसमें उन्होंने बताया कि कैसे यह संस्थान युवाओं के बीच निस्वार्थ सेवा के मूल्यों को स्थापित करता है.

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प्रतीकात्‍मक फोटो
नई दिल्‍ली:

भारत सरकार के रक्षा मंत्रालय के 21 जनसंपर्क अधिकारियों ने बहुभाषी माइक्रो-ब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म कू ऐप (Koo App) पर अपना खाता खोला है. इस कदम से मंत्रालय ने सोशल मीडिया पर अपनी मौजूदगी को बढ़ाया है और समूचे भारत के लोगों से उनकी मूल भाषा में जुड़ने के साथ विभिन्न पहलों की अपडेट देने में सहूलियत होगी. रक्षा मंत्रालय के मुख्‍य प्रवक्ता के साथ, चेन्नई, गांधीनगर, गुवाहाटी, हैदराबाद, इंफाल, जयपुर, जालंधर, जम्मू, कोच्चि, कोहिमा, कोलकाता, लखनऊ, मुंबई, नागपुर, पालम, पुणे, शिलांग, श्रीनगर, त्रिवेंद्रम और विजाग के जनसंपर्क अधिकारियों ने आत्म-अभिव्यक्ति के सबसे बड़े बहुभाषी सोशल मीडिया मंच Koo App पर अलग-अलग अकाउंट खोले हैं. अपने आधिकारिक हैंडल @SpokespersonMoD से Koo पोस्ट करते हुए रक्षा मंत्रालय के प्रधान प्रवक्ता ने एनसीसी कैडेटों से जुड़ा एक अपडेट साझा किया, जिसमें उन्होंने बताया कि कैसे यह संस्थान युवाओं के बीच निस्वार्थ सेवा के मूल्यों को स्थापित करता है.

रक्षा मंत्रालय के पीआरओ श्रीनगर ने लद्दाख के स्थानीय समुदायों के बीच आयोजित एक सांस्कृतिक कार्यक्रम की तस्वीरें सोशल मीडिया मंच Koo App पर पोस्ट कीं.

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इस बीच, रक्षा मंत्रालय के पीआरओ हैदराबाद ने कारवार में इंडियन नेवल सेलिंग एसोसिएशन द्वारा आयोजित एक सेलिंग चैंपियनशिप की तस्वीरें Koo App पर शेयर कीं.

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इस मंच पर सभी पीआरओ का स्वागत करते हुए Koo App के प्रवक्ता ने कहा, "हम वास्तव में सम्मानित महसूस कर रहे हैं कि भारत सरकार के रक्षा मंत्रालय के 21 जनसंपर्क अधिकारी भारतीयों की आवाज का लोकतंत्रीकरण करने वाले मंच Koo App पर आए हैं. ”Koo App भारतीयों को हिंदी, गुजराती, मराठी, बंगाली, तमिल, तेलुगु, कन्नड़, असमिया, पंजाबी और अंग्रेजी समेत 10 भाषाओं में खुद को ऑनलाइन व्यक्त करने में सक्षम बनाता है. मंच पर कई सरकारी विभागों और केंद्रीय मंत्रालयों का काफी बेहतर प्रतिनिधित्व है.

गौरतलब है कि Koo App की लॉन्चिंग मार्च 2020 में भारतीय भाषाओं के एक बहुभाषी, माइक्रो-ब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म के रूप में की गई थी, ताकि भारतीयों को अपनी मातृभाषा में अभिव्यक्ति करने में सक्षम किया जा सके. Koo App ने भाषा-आधारित माइक्रो-ब्लॉगिंग में नया बदलाव किया है. Koo App फिलहाल हिंदी, मराठी, गुजराती, पंजाबी, कन्नड़, तमिल, तेलुगु, असमिया, बंगाली और अंग्रेजी समेत 10 भाषाओं में उपलब्ध है.

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