भारत, एक ऐसा राष्ट्र है जो सदियों से प्रकृति को देवी स्वरूप पूजता आया है और अपनी वनस्पति संपदा को भी उसी सम्मान से देखता है. हमारे यहां प्रकृति से प्राप्त प्रत्येक वस्तु का सदुपयोग करने की गहरी परंपरा रही है. वास्तव में, प्रकृति में मिलने वाला हर पौधा किसी न किसी रूप में मानव जाति के लिए लाभकारी होता है; आवश्यकता केवल उसके सही उपयोग की सटीक जानकारी होने की है. ऐसा ही एक पौधा है संखाहुली, जिसे अक्सर लोग साधारण खरपतवार मानकर अनदेखा कर देते हैं, लेकिन यह औषधीय गुणों का एक छिपा हुआ भंडार है.
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कैसी होती है संखाहुली की बनावट
संखाहुली एक खतपतवार है, जो नुकीला होता है और कपड़ों में बुरी तरीके से चिपक जाता है. ये पशुओं की त्वचा पर भी चिपककर उन्हें नुकसान पहुंचाता है और इसी वजह से लोग इसे विषकारी मानते हैं, लेकिन ऐसा कुछ है नहीं. ये पौधा औषधीय गुणों से भरपूर होता है. इसे अलग-अलग जगहों पर अलग-अलग नामों से जाना जाता है. इसे कॉकलेबुर, संखाहुली, छोटा धतूरा और हरंखुरी भी कहा जाता है; इसका वैज्ञानिक नाम जैन्थियम स्ट्रूमेरियम है. इस पौधे के उगने का खास समय नहीं होता है, ये साल भर उगता है और नदियों के किनारे और घास के मैदानों में ज्यादा पाया जाता है.
हालांकि, उसका सेवन करने से पहले आयुर्वेदिक चिकित्सक से सलाह लेनी चाहिए क्योंकि पौधे के बीज और कुछ हिस्से जहरीले होते हैं.
संखाहुली के गुण
संखाहुली में फेनोलिक एसिड, एंटीऑक्सिडेंट, एनाल्जेसिक, एंटी-इंफ्लेमेटरी, जीवाणुरोधी और एंटीवायरल गुण होते हैं, जो कई बीमारियों को कम करने में मदद करते हैं.
अगर बालों के झगड़ने की समस्या हो रही है तो ये पौधा बहुत अच्छे परिणाम देता है. ये स्कैल्प में रक्त के संचार को बढ़ाता है और बालों को मजबूती भी देता है, जिससे बाल कम टूटते हैं और नए बाल आते हैं. इसे पौधे का लेप बनाकर सीधा बालों में लगाया जा सकता है या नारियल के तेल में संखाहुली मिलाकर उबालकर बालों की मसाज की जा सकती है.
स्किन और नाखूनों के लिए फायदेमंदसंखाहुली में कोलेजन बहुत ज्यादा मात्रा में होता है और स्किन और नाखूनों के लिए फायदेमंद होता है. ये स्किन को जवान दिखाता है और झुर्रियों को कम करता है. इतना ही नहीं, अगर स्किन पर काले धब्बे हैं तो भी इसका लेप लगाया जा सकता है. बाजार में संखाहुली का पाउडर और दवा मौजूद होती है, लेकिन इस्तेमाल करने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.
गठिया और हड्डियों के दर्द से छुटकारा पाने के लिए भी संखाहुली बहुत फायदेमंद है. इसमें एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं, जो हड्डियों को मजबूती देते हैं और जोड़ों के दर्द में आराम भी देते हैं. इसके लिए संखाहुली को काढ़े के रूप में ले सकते हैं. यह शरीर में होने वाले दर्द से भी राहत देता है.
(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)














