Ghaziabad: ट्रेडमिल पर दौड़ते समय युवक की हार्ट अटैक से मौत, यहां जानें समय रहते कैसे बचा सकते हैं मरीज की जान...

दुनिया भर में लगातार हार्ट-अटैक के बढ़ते मामले सामने आ रहे हैं. जिसमें भारत में पिछले कुछ दिनों में हार्ट अटैक के कारण मौत की घटनाएं बड़ी संख्या में सामने आई हैं.

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जिम में ट्रेडमिल पर दौड़ते युवक की हार्ट अटैक से मौत.
नई दिल्ली:

दुनिया भर में लगातार हार्ट-अटैक के बढ़ते मामले सामने आ रहे हैं. जिसमें भारत में पिछले कुछ दिनों में हार्ट अटैक के कारण मौत की घटनाएं बड़ी संख्या में सामने आई हैं, कम उम्र के लोगों में भी हार्ट अटैक के मामले सामने आ रहे हैं. हालही में एक मामला यूपी के गाजियाबाद से सामने आया है, जहां ट्रेडमिल पर दौड़ते समय एक युवक अचानक गिर गया और उसकी मौत हो गई. बताया जाता है कि खोड़ा के सरस्वती विहार में जिम में कसरत करते समय युवक का हार्ट फेल हो गया और बाद में डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया.

मृतक का नाम सिद्धार्थ है वह अपने माता-पिता का इकलौती संतान था और नोएडा के एक कॉलेज में फर्स्ट ईयर का छात्र था. सिद्धार्थ अपने पिता के साथ सरस्वती विहार में रहता था और वहीं उसकी मां सरकारी शिक्षक के पद पर तैनात है. 

सिद्धार्थ ने हार्ट अटैक से तकरीबन 20 मिनट पहले अपनी माता से बात की थी और फिर वापस जिम करने लगा था. लेकिन 20 मिनट के बाद ही सिद्धार्थ की मौत हो गई. इस घटना का पूरा वीडियो सीसीटीवी में कैद हो गया है. वीडियो में साफ दिख रहा है कि सिद्धार्थ ट्रेडमिल पर गिरता है, फिर मौके पर मौजूद कुछ युवक उसके पास जाते हैं. फिर उसे उठाने की कोशिश करते दिखते हैं. हालांकि तमाम कोशिशों के बाद भी सिद्धार्थ को बचाया नहीं जा सका.

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कैसे पहचानें हार्ट अटैक के लक्षण| How To Recognize The Symptoms Of Heart Attack

  • सीने में दर्द और असहज महसूस होना
  • कुछ मामलों में पहले से कुछ संकेत नजर आने लगते हैं, जैसे अपच या मतली, अत्यधिक थकान, सांस की तकलीफ, अस्वस्थ महसूस करना आदि.

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हार्ट अटैक आने पर कैसे बचाएं मरीज की जान? 

अगर आपके सामने किसी को हार्ट अटैक आता है तो आप बिना घबराए सबसे पहले मरीज को आरामदायक स्थिति में लाएं, इसके लिए आप मरीज को लिटाएं.

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अब मरीज को एस्प्रिन की टेबलेट चूसने के लिए दें, इससे खून के थक्के नहीं जमते. एस्पिरिन लेने से आपकी धमनियों के अंदर बनने वाले रक्त के थक्के को तोड़ने में मदद मिल सकती है, जो दिल के दौरे के दौरान धमनी में रक्त के प्रवाह को रोक सकता है. डॉक्टर भी इस दवा को निगलने के बजाय चबाने की सलाह देते हैं, ताकि यह आपके सिस्टम में तेजी से प्रवेश कर सके.

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मरीज के मुंह में सांस भरे ताकि सांस की नली का ब्लॉकेज कम हो सके.

यदि मरीज सांस नहीं ले रहा है या आपको नाड़ी नहीं मिल रही है, तो ब्लड सर्कुलेशन को बनाए रखने के लिए सीपीआर (कार्डियोपल्मोनरी रिससिटेशन) शुरू करें. सुनिश्चित करें कि आप पहले इमरजेंसी मेडिकल हेल्प के लिए कॉल करें और फिर सीपीआर शुरू कर दें. 

(अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.)

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