Vedic Rakhi for Raksha Bandhan: रक्षाबंधन बस आने ही वाला है. हर साल की तरह ही इस साल भी रक्षाबंधन की अलग-अलग तिथि बताई जा रही हैं जिस चलते कुछ लोग 30 अगस्त के दिन तो कुछ 31 अगस्त के दिन रक्षाबंधन मनाने वाले हैं. रक्षाबंधन के दिन बहनें भाई की कलाई पर प्रेम और विश्वास का धागा यानी राखी (Rakhi)बांधती हैं. रक्षाबंधन पर राखी बांधने के लिए बाजार का रुख किया जाता है और तरह-तरह की चमचमाती राखियां खरीदी जाती हैं. लेकिन, इस दिन आप वैदिक राखी भी बना सकती हैं. वैदिक राखी मान्यतानुसार बेहद शुभ मानी जाती है और इसे घर पर तैयार करना भी आसान होता है. जानिए बहनें किस तरह वैदिक राखी बना सकती हैं.
रक्षाबंधन के लिए वैदिक राखी | Vedic Rakhi For Raksha Bandhan
रक्षाबंधन के दिन भाई की कलाई पर वैदिक राखी बांधने के लिए एक दिन पहले ही इस राखी को तैयार कर लें. राखी बनाने के लिए आपको दूर्वा, अक्षत, चंदन और राई की जरूरत होगी. राखी के लिए सूती कपड़ा भी साथ रखें. इन चीजों को साथ मिलाकर आप राखी बना सकती हैं. यह आम राखी की तरह ही होगी बस फर्क इतना होगा कि इस राखी में इस्तेमाल हुई सामग्री का विशेष धार्मिक महत्व भी है.
चावल को ही अक्षत कहा जाता है. अनेक पूजा-पाठ में अक्षत का इस्तेमाल होता है और खासतौर से रक्षाबंधन के दिन भाई के माथे पर टीका और चावल लगाया जाता है. आप राखी के ऊपर कुछ दाने चावल के लगा सकती हैं.
दूर्वा को भगवान गणेश (Lord Ganesha) पर विशेषरूप से चढ़ाया जाता है. दूर्वा को राखी पर लगाया जा सकता है. इससे भाई के जीवन में खुशहाली बनी रहती है.
ठंडा और सुगंधित चंदन राखी बनाने में इस्तेमाल किया जा सकता है. वैदिक राखी पर आप चंदन लगा सकती हैं. यह जीवन में सुख-शांति का प्रतीक होता है.
भाई की कलाई पर सूती कपड़ें में राई बांधकर भी राखी बांधी जा सकती है. इस तरह की राखी को विघ्नों को दूर करने वाला माना जाता है. कहते हैं इससे भाई के जीवन से नकारात्मकता दूर होती है.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)