आज तीसरे मंगला गौरी व्रत पर इस तरह करें पूजा संपन्न, मिलेगा मां गौरी का आशीर्वाद 

हर मंगलवार को मंगला गौरी व्रत रखा जाता है. इस व्रत को करने पर मां गौरी की कृपा प्राप्त होती है. जानिए पूजा से जुड़ी कुछ खास बातों के बारे में. 

विज्ञापन
Read Time: 3 mins
इस तरह मंगला गौरी व्रत पर की जा सकती है पूजा.

Mangala Gauri Vrat 2024: सावन माह के हर मंगलवार को मंगला गौरी व्रत रखा जाता है. इस दिन माता मंगला गौरी की पूजा की जाती है. मंगला गौरी व्रत पर विवाहित महिलाएं पति की लंबी आयु के लिए व्रत रखती हैं. इस व्रत को करने पर माना जाता है कि वैवाहिक जीवन सुखमय बनता है. यह व्रत शुभता के आगमन का प्रतीक भी माना जाता है. इस बार तीसरा मंगला गौरी व्रत आज 6 अगस्त के दिन रखा जा रहा है. जानिए पूजा सामग्री और पूजा विधि के बारे में. साथ ही, पढ़ें मां मंगला गौरी की आरती. 

कब है हरियाली तीज, जानिए कैसे करें पूजा, व्रत के लिए महिलाएं रखें ये पूजन सामग्री

मंगला गौरी व्रत की पूजा | Mangala Gauri Vrat Puja

मंगला गौरी व्रत की सामग्री (Vrat Samagri) में फल, दीया, देसी घी, मिठाई, कपास, सौलह शृंगार, पान, सुपारी, लौंग, फूल, इलायची, फूल, पंचमेवा, बाती, माचिस, धूप, लाल वस्त्र, आसन, देवी मां की प्रतिमा, गंगाजल, शुद्ध जल, घर पर बना भोग आदि शामिल किया जाता है. भोग में महिलाएं गुड़ की खीर और हलवा आदि शामिल करती हैं. 

मां मंगला गौरी की पूजा करने के लिए सुबह उठकर स्नान किया जाता है. स्नान के पानी में गंगाजल डालना शुभ होता है. इसके बाद आसन सजाकर उसपर लाल कपड़ा बिछाते हैं और उसपर मां गौरी की प्रतिमा रखी जाती है. इसके बाद माता का गंगाजल से अभिषेक किया जाता है. गेहूं के आटे से दीया बनाते हैं और उसपर 16 बत्तियां लगाई जाती हैं. ये दीये घी के होते हैं. इस दिन देवी मां को 16 की संख्या में चीजें अर्पित की जाती हैं, जैसे 16 शृंगार, 16 लौंग, 16 इलायची, 16 फल, 16 लड्डू और 16 फूल इत्यादि. पूजा में मां मंगला गौरी की कथा पड़ी जाती है, आरती (Mangala Gauri Aarti) गायी जाती है और भोग लगाकर पूजा का समापन होता है.

Advertisement
मंगला गौरी आरती 

जय मंगला गौरी माता, जय मंगला गौरी माता
ब्रह्मा सनातन देवी शुभ फल दाता। जय मंगला गौरी...।

अरिकुल पद्मा विनासनी जय सेवक त्राता,
जग जीवन जगदम्बा हरिहर गुण गाता। जय मंगला गौरी...।

सिंह को वाहन साजे कुंडल है,
साथा देव वधु जहं गावत नृत्य करता था। जय मंगला गौरी...।

सतयुग शील सुसुन्दर नाम सटी कहलाता,
हेमांचल घर जन्मी सखियन रंगराता। जय मंगला गौरी...।

शुम्भ निशुम्भ विदारे हेमांचल स्याता,
सहस भुजा तनु धरिके चक्र लियो हाता। जय मंगला गौरी...।

सृष्टी रूप तुही जननी शिव संग रंगराताए
नंदी भृंगी बीन लाही सारा मद माता। जय मंगला गौरी...।

देवन अरज करत हम चित को लाता,
गावत दे दे ताली मन में रंगराता। जय मंगला गौरी...।

मंगला गौरी माता की आरती जो कोई गाता
सदा सुख संपति पाता।

जय मंगला गौरी माता, जय मंगला गौरी माता।।

(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. एनडीटीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है.)

Monsoon Diet: न्यूट्रिशनिस्ट ने बताया मॉनसून में कैसा होना चाहिए खानपान | Monsoon
Featured Video Of The Day
Kundarki में Samajwadi Party की हार पर BJP पर लगे आरोप, सपा प्रत्याशी Haji Mohammad Rizwan क्या बोले
Topics mentioned in this article