"तो विराट खुद को शर्मिंदा करेंगे", हरभजन ने कोहली को याद दिलाई यह बड़ी बात

निश्चित रूप से हरभजन ने कोहली को लेकर बड़ी बात दी है, लेकिन ऐसा नहीं है कि कोहली उनके अनुमान पर खरे न उतर पाएं

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नई दिल्ली:

सभी जानते हैं कि कुछ साल पहले विराट कोहली (Virat Kohli) कितने ज्यादा खराब समय से गुजर रहे थे. और कुछ ऐसा ही उनके करियर के आगाज के समय भी हुआ था. साल 2008 में वनडे करियर का आगाज करने के बाद भी उन्हें टीम में स्थापित होने में खासा समय लगा. एक समय ऐसा भी आया पेसर फिडेल एडवर्ड्स के कोहली को कई बार आउट करने के बाद पूर्व कप्तान एक समय खुद की काबिलियत पर शक करने लगे थे. उस दौर को याद करते हुए और एक तरह से कोहली को कई साल पहले की बात को याद दिलाते हुए पूर्व स्पिनर हरभजन ने कहा कि उस समय कोहली खुद से बहुत ही निराश थे. तब मैंने उनकी खासी हौसलाअफजाई की थी. और कोहली में  टेस्ट में दस हजार रन बनाने की क्षमता है.

हरभजन ने एक पोडकास्ट में कहा, "अगर मैं विराट की टेस्ट क्रिकेट के बारे में आपसे कुछ कहूं, तो यह उनके एकदम शुरुआती दिनों की बात है. तब हम विंडीज दौरे पर थे. इस दौरे में विंडीज के पूर्व पेसर फिडेल एडवर्ड्स ने कोहली को बहुत ज्यादा परेशान किया था", पूर्व ऑफी ने कहा, "एडवर्ड्स उन्हें एलबीडब्ल्यू या फिर शॉर्ट पिच से आउट कर रहे थे. वह बार-बार आउट हो रहे थे. निश्चित रूप से उस समय कोहली बहुत ही ज्यादा निराश थे."

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भज्जी ने कार्यक्रम में कहा, "तब कोहली खुद की काबिलियत के बारे में शक करने लगे थे. उन्होंने मुझसे सवाल किया कि क्या मैं इस स्तर के लिए अच्छा हूं? इस पर मैंने कहा, अगर आप टेस्ट क्रिकेट में दस हजार रन नहीं बनाओगे, तो खुद को शर्मिंदा करोगे', मैंने उनसे कहा,"आपके भीतर टेस्ट क्रिकेट में दस हजार रन बनाने की काबिलियत है. अगर आप ऐसा नहीं कर पाते हैं, तो यह आपकी खुद की खामी के कारण होगा. और इसके बाद जो भी कोहली ने किया है, वह जीवन में एक बार ही होता है. यह अपवाद है."  

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पूर्व दिग्गज ऑफी ने कोहली की टीम में जुझारू मनोदशा लाने की प्रशंसा करते हुए कहा, "मैंने  कोहली में बदलाव देखा, उनके आहार और मनोदशा-मैं साधारण खिलाड़ी ने नहीं रहना चाहता- में बदलाव होते हुए देखा है.  कोहली की सोच यह थी कि मैं ऐसा बल्लेबाज बनना चाहता हूं, जिसे लोग लंबे समय तक याद करें." उन्होंने कहा, "यह जिद मैंने अपने भीतर देखी, लेकिन कोहली के भीतर यह बहुत ही ज्यादा थी. 

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वैसे बता दें कि फिलहाल विराट कोहली के 113 टेस्ट मैचों में 49.15 के औसत से 8,848 रन हैं. मतलब भज्जी के पैमाने को हासिल करने के लिए अभी भी कोहली को खासे रन बनाने हैं, लेकिन ऐसा कोई कारण नजर नहीं आता कि कोहली इस "विराट" आंकड़े को हासिल न कर सकें. हां यह सवाल जरूर बड़ा है कि क्या विराट सचिन के सौ शतकों का रिकॉर्ड तोड़ पाएंगे? फिलहाल कोहली के 79 शतक हैं. 

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