वेस्टइंडीज के दिग्गज ऑलराउंडर कीरोन पोलार्ड (Kieron Pollard) ने इंटरनेशनल क्रिकेट से संन्यास का ऐलान कर दिया है. सोशल मीडिया पर पोस्ट शेयर कर पोलार्ड ने इस बात की जानकारी सभी के साथ साझा की है. पोलार्ड ने वेस्टइंडीज के लिए लगभग 15 साल तक खेले, भले ही इंटरनेशनल क्रिकेट में पोलार्ड ने ज्यादा नाम नहीं कमाया लेकिन फ्रेंचाइजी क्रिकेट में उन्होंने अपने कारनामें से सभी को हैरान किया है. बता दें कि वर्तमान में पोलार्ड मुंबई इंडियंस की टीम का हिस्सा हैं.
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दिग्गज ऑलराउंडर ने अपने पोस्ट में कहा, 'जैसा कि मैं आगे बढ़ता हूं और उन लोगों के लिए जगह बना रहा हूं, जो वेस्टइंडीज के रंग में खेल को आगे बढ़ाएंगे, मुझे पता है कि मैं हमेशा हर तरह से समर्थन करूंगा. यह मेरे सपने को जीने के लिए गहरा आभार है कि मैं अब अपना बल्ला ऊपर उठाता हूं वेस्ट इंडीज क्रिकेट को सलाम करता हूं''
पोलार्ड ने वेस्टइंडीज के लिए 123 वनडे और 101 टी20 मैच खेले. उन्होंने अप्रैल 2007 में साउथ अफ्रीका के खिलाफ अपना वनडे डेब्यू किया और अगले साल ब्रिजटाउन में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अपने टी20इंटरनेशनल करियर की शुरुआत की थी. मुस्तफिजुर रहमान की गेंद की रफ्तार का कहर, बल्ले से बॉल लगते ही घुसी स्टंप में, अग्रवाल के उड़े होश
Kieron Pollard ने 123 वनडे में 2706 रन बनाए हैं और साथ ही 55 विकेट लेने में सफल रहे. इसके अलावा 101 टी-20 इंटरनेशनल में 1569 रन के अलावा 42 विकेट लेने में सफल रहे थे.
जब पोलार्ड ने लगाया था 6 गेंद पर 6 छक्का
उनके अंतरराष्ट्रीय करियर का आकर्षण टी20 अंतरराष्ट्रीय मुकाबले में श्रीलंका के अकिला धनंजय के ओवर में छह छक्के रहे. वह हर्शल गिब्स और युवराज सिंह के बाद अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में एक ओवर में छह छक्के जड़ने वाले तीसरे बल्लेबाज थे. वह 2012 में आईसीसी टी20 विश्व कप जीतने वाली वेस्टइंडीज की टीम का हिस्सा थे. उन्हें कभी टेस्ट क्रिकेट खेलने का मौका नहीं मिला. विश्व क्रिकेट में सबसे अधिक छक्के जड़ने वाले खिलाड़ियों की सूची में शामिल पोलार्ड जब अपने खेल के शीर्ष पर थे तो शायद ही कोई गेंदबाज होगा जो उन्हें फुल लेंथ गेंद फेंकने से नहीं डरा होगा. वह यॉर्कर पर भी छक्का मारने की क्षमता रखते हैं. पोलार्ड ने वनडे इंटरनेशनल क्रिकेट में तीन शतक जड़े लेकिन वह वेस्टइंडीज के लिए कभी वैसा प्रदर्शन नहीं कर पाए जैसा उन्होंने मुंबई इंडियन्स या दुनिया भर की अन्य फ्रेंचाइजी के लिए किया.
वेस्टइंडीज के खस्ता वित्तीय हालत के कारण पोलार्ड ने संभवत: विदेशी लीग को अपनी प्राथमिकता बनाया और शायद यही कारण है कि वह राष्ट्रीय टीम का प्रतिनिधित्व करते हुए कभी अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन नहीं कर पाए.
इसका साक्ष्य यह भी है कि उन्होंने 101 टी20 अंतरराष्ट्रीय मैच में 99 छक्के जड़े जो एक छक्का प्रति मैच से भी कम है. उनकी गेंदबाजी क्षमता में भी लगातार गिरावट आई. पोलार्ड 35 बरस के होने वाले हैं और उन्हें पता है कि उन्हें दुनिया भर की लीग में खेलकर अपनी आय को अधिकतम करना होगा.