राष्ट्रीय राजधानी में लिंगानुपात 2021 के 932 से घटकर 2022 में 929 हो गया. दिल्ली सरकार की एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई है.'दिल्ली में जन्म और मृत्यु के पंजीकरण पर वार्षिक रिपोर्ट, 2022' में कहा गया है कि दिल्ली में जन्म दर 2021 के प्रति हजार जनसंख्या पर 13.13 की तुलना में 2022 के दौरान बढ़कर 14.24 हो गई. मृत्यु दर 2021 में 8.28 प्रतिशत थी जो 2022 में घटकर 6.07 प्रतिशत हो गई.
रिपोर्ट में कहा गया है कि दिल्ली में प्रतिदिन जन्म की औसत संख्या में भी उल्लेखनीय उछाल आया, और यह 2022 में बढ़कर 823 हो गई है जो 2021 में 745 थी. रिपोर्ट में कहा गया है कि लिंगानुपात प्रति हजार पुरुषों पर 2021 में 932 था जो 2022 में घटकर 929 हो गया.
रिपोर्ट में कहा गया है कि पंजीकृत किए गए कुल जन्म में 1,55,670 (51.83 प्रतिशत) लड़के थे और 1,44,581 (48.14 प्रतिशत) लड़कियां थीं और 99 (0.03 प्रतिशत) 'अन्य' श्रेणी से संबंधित थे. रिपोर्ट से पता चलता है कि 2.23 प्रतिशत महिलाओं ने 19 साल या इससे कम उम्र में बच्चे को जन्म दिया.
रिपोर्ट में 2022 में शिशु और मातृ मृत्यु दर में मामूली वृद्धि पर भी प्रकाश डाला गया है. 2022 में, शिशु मृत्यु दर (प्रति हजार जीवित जन्म पर) 23.82 रही, जो 2021 में 23.60 थी. मातृ मृत्यु दर (प्रति हजार जीवित जन्म) 2022 में 0.49 रही, जो 2021 में 0.44 थी.
साल 2021 में दर्ज की गई 1,71,476 मौतों की तुलना में 2022 में 1,28,106 मौतें दर्ज की गईं. रिपोर्ट में कहा गया है कि पंजीकृत मौतों में 79,052 (61.71 प्रतिशत) पुरुष और 49,004 (38.25 प्रतिशत) महिलाएं और 'अन्य' श्रेणी में 50 (0.04 प्रतिशत) मौतें शामिल हैं.
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