प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को रोम में संपन्न जी-20 शिखर सम्मेलन को ‘फलदायी' करार दिया है. उन्होंने कहा कि विश्व नेताओं ने वैश्विक महत्व के अहम मुद्दों जैसे महामारी से लड़ाई, स्वास्थ्य अवसंरचना में सुधार, आर्थिक सहयोग को बढ़ावा देने और नवोन्मेष पर विस्तृत चर्चा की. प्रधानमंत्री ने ट्वीट किया, ‘‘रोम में जी-20 फलदायी शिखर सम्मेलन के बाद ग्लासगो के लिए रवाना हो रहा हूं. सम्मेलन के दौरान हम वैश्विक महत्व के मुद्दों जैसे महामारी के खिलाफ लड़ाई, स्वास्थ्य अवसंरचना में सुधार, आर्थिक सहयोग को बढ़ावा देना एवं आगे के नवोन्मेष पर विस्तृत चर्चा कर सके.''
जी-20 में भारत के शेरपा पीयूष गोयल ने रविवार को बताया कि जी-20 नेता इस बात पर सहमत हुए विश्व स्वास्थ्य संगठन कोविड-19 टीके को आपात मंजूरी देने की प्रक्रिया को तेज करने से मजबूत होगा.
इससे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जी-20 शिखर सम्मेलन से इतर रविवार को रोम में इंडोनेशिया के राष्ट्रपति जोको विडोडो के साथ द्विपक्षीय व्यापक रणनीतिक साझेदारी, कारोबार, अर्थव्यवस्था और लोगों से लोगों के बीच संपर्क के मुद्दे पर विचारों का आदान-प्रदान किया.
विदेश मंत्रालय के ट्वीट के मुताबिक मोदी ने अगले साल जी-20 की अध्यक्षता मिलने पर इंडोनेशिया को बधाई दी और ट्रोइका (पूर्ववर्ती, मौजूदा और आगामी जी-20 अध्यक्षता)के हिस्से के तौर पर भारत के समर्थन का भरोसा दिया. प्रधानमंत्री मोदी ने ट्वीट किया, ‘‘आज राष्ट्रपति जोको विडोडो से मिलकर खुशी हुई. भारत-इंडोनेशिया के मौजूदा सहयोग के क्षेत्रों और नए आयामों पर चर्चा की जहां पर दोनों देश अपने नागरिकों और पूरे ग्रह के लाभ के लिए मिलकर काम कर सकते हैं.''
प्रधानमंत्री कार्यालय ने ट्वीट किया, ‘‘ इंडोनेशिया के साथ मजबूत संबंध भारत की ‘एक्ट ईस्ट नीति' और ‘सागर' दृष्टिकोण का अहम हिस्सा है. बातचीत के दौरान आर्थिक संबंध सुधारने और सांस्कृतिक सहयोग पर मुख्य रूप से चर्चा की गई.''
गौरतलब है कि ‘सागर' ‘‘क्षेत्र में सभी के लिए सुरक्षा और विकास' का संक्षिप्त शब्द है जिसे 2015 में पेश किया गया था.