चीन ने भारत सीमा के पास, तिब्बत में पहली बुलेट ट्रेन सेवा शुरू की

सिचुआन-तिब्बत रेलवे के 435.5 किलोमीटर लंबे लहासा-नियंगची खंड का एक जुलाई को सत्तारूढ़ चीन की कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीसी) के शताब्दी समारोहों से पहले उद्घाटन किया गया है.

विज्ञापन
Read Time: 15 mins
सिचुआन-तिब्बत रेलवे किंगहाई-तिब्बत रेलवे के बाद तिब्बत में दूसरी रेलवे होगी.
बीजिंग:

चीन ने तिब्बत के सुदूर हिमालयी क्षेत्र में पहली पूरी तरह बिजली से चालित बुलेट ट्रेन का शुक्रवार को परिचालन शुरू किया जो प्रांतीय राजधानी लहासा और नियंगची को जोड़ेगी. नियंगची अरुणाचल प्रदेश के करीब स्थित तिब्बत का सीमाई नगर है. सिचुआन-तिब्बत रेलवे के 435.5 किलोमीटर लंबे लहासा-नियंगची खंड का एक जुलाई को सत्तारूढ़ चीन की कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीसी) के शताब्दी समारोहों से पहले उद्घाटन किया गया है.

सरकारी समाचार एजेंसी ‘शिन्हुआ' ने खबर दी कि तिब्बत स्वायत्त क्षेत्र में पहले विद्युत चालित रेलवे की शुक्रवार सुबह से शुरुआत हुई जो लहासा से नियंगची तक गई जहां “फूक्सिंग” बुलेट ट्रेनों का पठारी क्षेत्र में आधिकारिक परिचालन शुरू हुआ. सिचुआन-तिब्बत रेलवे किंगहाई-तिब्बत रेलवे के बाद तिब्बत में दूसरी रेलवे होगी. यह किंगहाई-तिब्बत पठार के दक्षिण-पूर्व क्षेत्र से होकर गुजरेगी जो विश्व के भूगर्भीय रूप से सबसे सक्रिय क्षेत्रों में से एक है.

मुद्दा ये है कि क्या चीन अपनी प्रतिबद्धताओं पर खरा उतरेगा : लद्दाख पर एस जयशंकर

नवंबर में, चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग ने अधिकारियों को सिचुआन प्रांत को तिब्बत में नियंगची से जोड़ने वाली नयी रेलवे परियोजना का काम तेज गति से करने का निर्देश दिया था और कहा था कि नयी रेल लाइन सीमा स्थिरता को सुरक्षित रखने में अहम भूमिका निभाएगी. सिचुआन-तिब्बत रेलवे की शुरुआत सिचुआन प्रांत की राजधानी, चेंगदू से होगी और यान से गुजरते हुए कामदो के जरिए तिब्बत में प्रवेश करेगी जिससे चेंगदू से लहासा की यात्रा 48 घंटे से कम होकर 13 घंटे रह जाएगी. नियंगची मेदोग का प्रांतीय स्तर का शहर है जो अरुणाचल प्रदेश सीमा से सटा हुआ है. 

Advertisement

गलवान के बाद चीन को एहसास हुआ, उन्हें बेहतर ट्रेनिंग की ज़रूरत है : जनरल बिपिन रावत

चीन अरुणाचल प्रदेश को दक्षिण तिब्बत का हिस्सा बताता है जिसे भारत पुरजोर तरीके से खारिज करता है. भारत-चीन सीमा विवाद 3,488 किलोमीटर लंबी वास्तविक नियंत्रण रेखा (एलएसी) को लेकर है. त्सिंगहुआ युनिवर्सिटी में नेशनल स्ट्रेटजी इंस्टीट्यूट के शोध विभाग के निदेशक कियान फेंग ने सरकारी दैनिक ‘ग्लोबल टाइम्स' को पूर्व में बताया था, “कि चीन-भारत सीमा पर अगर संकट का कोई परिदृश्य बनता है तो रेलवे चीन को रणनीतिक सामग्रियां पहुंचाने में बहुत सुविधा देगी.”

Advertisement

चीन है भारत पर साइबर हमला करने में सक्षम : जनरल बिपिन रावत

(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
Featured Video Of The Day
Abortion पर दुनिया भर में बहस जारी, जाने भारत में इसे जुड़े कानून | Rule Of Law With Sana Raees Khan
Topics mentioned in this article