उत्तर प्रदेश के मेरठ बिजनौर बॉर्डर पर गंगा नदी पर बना पुल एक बार फिर जनता के लिए बंद कर दिया गया है. दरअसल, हस्तिनापुर से चांदपुर की ओर जाने वाले पुल का एप्रोच रोड नदी के तेज बहाव में बह गया. पुल टूटने से आसपास के कई गांवों में यातायात ठप हो गया है. खास बात ये है कि इस पुल पर कुछ दिन पहले ही काम पूरा किया गया था, लेकिन यह मानसून की पहली बारिश ही नहीं छेल पाया और ताश के पत्तों की तरह ढह गया.
मिल रही जानकारी के अनुसार मेरठ के हस्तिनापुर और बिजनौर को जोड़ने वाले पुल की एप्रोच रोड नदी के तेज बहाव को न झेल पाने के कारण सोमवार सुबह 4 बजे नदी में बह गई.पुल को पिछले साल मरम्मत के लिए बंद कर दिया गया था और इस पुल में अभी सुरक्षा के लिहाज से कुछ काम कराया जाना बांकी है.
मेरठ के जिला मजिस्ट्रेट दीपक मीणा ने समाचार एजेंसी एएनआई को बताया कि हस्तिनापुर और बिजनौर को जोड़ने वाला पुल पिछले साल भी मरम्मत कार्य के कारण बंद कर दिया गया था और सुरक्षा की दृष्टि से कई काम कराया जा अभी भी बांकि है.
उन्होंने आगे बताया कि हस्तिनापुर और बिजनौर को जोड़ने वाला एक पुल था जो पिछले साल भी मरम्मत कार्य के कारण बंद कर दिया गया था. पीडब्ल्यूडी ने संशोधित एस्टीमेट भेजा था जो शुरुआती एस्टीमेट से ज्यादा था. सुरक्षा से जुड़े कई अहम काम कराया जाना अभी भी बांकी है. प्रोजेक्ट में देरी की जांच चल रही है. संशोधित प्राक्कलन अभी तक स्वीकृत नहीं हुआ है, परिणामस्वरूप सुरक्षा प्रावधानों का निर्माण नहीं हो सका है, फलस्वरूप पहुंच पथ फिर से टूट गया है। हमने लंबित राशि जारी करने का अनुरोध किया है ताकि एप्रोच रोड पर सुरक्षा कार्य का निर्माण किया जा सके.
कुछ स्थानीय लोगों ने समाचार एजेंसी एएनआई को बताया कि पिछले साल भी जुलाई महीने में संपर्क सड़क टूट गई थी और छह महीने तक इसकी मरम्मत नहीं की गई थी. उन्होंने यह भी बताया कि शनिवार को क्षेत्र में मानसून आने से दो दिन पहले ही कनेक्टिंग रोड का काम खत्म हो गया था.