यूपी: हरदोई में बड़ा सड़क हादसा, छह की मौत, सात गंभीर रूप से घायल 

हरदोई में हुआ सड़क हादसा तेज रफ्तार की वजह से हुआ है. पुलिस फिलहाल इस पूरे मामले की जांच कर रही है. इस घटना में जो लोग घायल हुए हैं उनका इलाज अस्पताल में चल रहा है.

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यूपी के हरदोई में बड़ा सड़क हादसा, छह लोगों की मौत
नई दिल्ली:

उत्तर प्रदेश के हरदोई में एक बड़ा सड़क हादसा हुआ है. हादसा हरदोई के बिलग्राम में ऑटो और डीसीएम की भिड़त की वजह से हुआ है. इस हादसे में छह लोगों की मौत की खबर है जबकि सात से ज्यादा लोगों के घायल होने की खबर है. बताया जा रहा है कि तेज रफ्तार डीसीएम ने ऑटो को टक्कर मारी थी. जिस समय ऑटो को ये टक्कर लगी उस दौरान उसमें कई लोग सवार थे. घटना की सूचना मिलने के बाद मौके पर पहुंची ने घायल लोगों को पास के अस्पताल में भर्ती कराया है जहां उनका इलाज चल रहा है. वहीं मृतकों के शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है.यूपी सरकार ने मौके पर कई वरिष्ठ अधिकारियों को भेजा है.  

उत्तर प्रदेश में इस तरह का यह कोई पहला सड़क हादसा नहीं है. बीते दिनों यूपी के उन्नाव (Unnao) में दुर्घटनाग्रस्त हुई बस में 18 यात्रियों की मौत हो गई थी. जांच के दौरान पाया गया था कि दुर्घटनाग्रस्त बस यूपी 95 टी 4729 महोबा जिले के आरटीओ में दर्ज है. एक के बाद एक जांच की परते खुली तो एक बड़े नटवरलाल का नाम सामने आया था. जिसके नाम 39 बसे दर्ज़ है, जिसमे 35 बस बिना फिटनेस और परमिट के सड़कों पर दौड़ रही थी. ये देख विभागीय अधिकारियों में हड़कंप मच गया और दुर्घटना की कड़ी जोड़ते हुए ट्रैवल्स एजेंसी के मालिक, ठेकेदार और उक्त नटवरलाल के खिलाफ मुकदमा दर्ज़ करने के लिए पुलिस में शिकायत दर्ज करवायी गई थी. इस हादसे के बाद तार जुड़े तो पता चला कि बुन्देलखण्ड के महोबा से लेकर दिल्ली और बिहार तक बस माफियाओं द्वारा एक सिंडीकेट बनाकर बसों का संचालन किया जा रहा था. 

एक ही शख्स के नाम रजिस्टर्ड थी 39 बस

बता दें उन्नाव में घटित बस हादसे में 18 लोगों की मौत हुई है और ये बस बिना फिटनेस, परमिट के सड़क पर दौड़ रही थीं. नतीजन उन्नाव हादसे में 18 लोगों की जिन्दगी खत्म हो गईं . जांच में उक्त दुर्घटनाग्रस्त बस महोबा जिले के खन्ना थाना क्षेत्र के मवई खुर्द गांव निवासी पुष्पेंद्र सिंह के नाम अस्थाई पते पर दर्ज पाई गई थी. शासन से जानकारी मिलने पर मंडल के आरटीओ उदयवीर सिंह अपनी दो सदस्यीय टीम के साथ महोबा आईटीओ विभाग पहुंचे और उन्होंने जब दस्तावेजों को खंगाला तो वह भौचक के रह गए कि कैसे एक ही व्यक्ति पुष्पेंद्र के नाम पर 39 बस है महोबा एआरटीओ विभाग में दर्ज थी.

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