International Women's Day: ये हैं सबसे शक्तिशाली महिलाएं, फोर्ब्स की लिस्ट में हैं नाम शामिल

कल दुनियाभर में अंतराराष्ट्रीय महिला दिवस (International Women's Day) मनाया जाएगा. हर साल 8 मार्च को दुनियाभर में सेलिब्रेट किया जाता है. इस दिन तमाम जगहों पर महिलाओं के हक, उनकी खुशी, सम्मान और सुरक्षा के लिए मनाया जाता है. आइए ऐसे में जानते हैं, सबसे शक्तिशाली महिलाओं के बारे में.

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नई दिल्ली:

कल दुनियाभर में अंतराराष्ट्रीय महिला दिवस (International Women's Day)  मनाया जाएगा.  हर साल 8 मार्च को दुनियाभर में सेलिब्रेट किया जाता है. इस दिन तमाम जगहों पर महिलाओं के हक, उनकी खुशी, सम्मान और सुरक्षा  के लिए मनाया जाता है. आइए ऐसे में जानते हैं, सबसे शक्तिशाली महिलाओं के बारे में.

आपको बता दें,फोर्ब्स ने दुनिया की सबसे शक्तिशाली 100 महिलाओं की सूची में भारत की वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण, एचसीएल एंटरप्राइज की सीईओ रोशनी नादर मल्होत्रा और बायोकॉन की संस्थापक किरण मजूमदार शॉ को शामिल किया गया. लिस्ट में जर्मनी की चांसलर एंजेला मर्केल लगातार 10वें साल भी टॉप पर हैं. 17वीं एनुअल फोर्ब्स पावर लिस्ट में 30 देशों की महिलाओं को शामिल किया गया है, जिनमें से 10 राष्ट्राध्यक्ष, 38  सीईओ और 5 एंटटेनर महिला हैं.

भारत की शक्तिशाली महिलाओं की बात करें तो इस लिस्ट में निर्मला सीतारमण 41वें नंबर पर हैं, जबकि रोशनी नादर 55वें नंबर पर हैं. किरण मजूमदार शॉ इस लिस्ट में 68वें नंबर पर हैं और लैंडमार्क ग्रुप की चेयरवुमन रेणुका जगतियानी को फोर्ब्स ने 98वें नंबर पर रखा है. आपको बता दें, भारतीय मूल की कमला हैरिस (अमेरिका की उपराष्ट्रपति)  फोर्ब्स  की लिस्ट में तीसरे स्थान पर हैं. ऐसा पहली बार हैं जब उनका नाम 100 शाक्तिशाली महिलाओं में पहली बार आया है.

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क्यों 8 मार्च को मनाया जाता है अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस

माना जाता है कि 1917 में पहले विश्व युद्ध के दौरान रूस की महिलाओं ने ब्रेड और पीस के लिए हड़ताल की थी. महिलाओं ने अपनी हड़ताल के दौरान अपने पतियों की मांग का समर्थन करने से भी मना कर दिया था और उन्हें युद्ध को छोड़ने के लिए राजी कराया था. इसके बाद वहां के सम्राट निकोलस को उसका पद छोड़ना पड़ा था और अंत में महिलाओं को मतदान का अधिकार भी दिया गया था. रूसी महिलाओं द्वारा यह विरोध 28 फरवरी को किया गया था. वहीं यूरोप में महिलाओं ने 8 मार्च को पीस ऐक्टिविस्ट्स को सपोर्ट करने के लिए रैलियां की थीं. इसके बाद से ही 8 मार्च को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस मनाया जाता है.

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अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस की शुरुआत कैसे हुई ?

इंटरनेशनल विमेंस डे की शुरुवातो को लेकर भी कई सवाव किए जाते हैं तो आपको बता दें कि 1908 में एक मजदूर आंदोलन के बाद अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस की शुरुआत हुई थी. दरअसल, न्यूयॉर्क में कई सारी महिलाओं ने मार्च निकालकर नौकरी के घंटे कम करने और वेतनमान बढ़ाने की मांग की थी. महिलाओं को उनके आंदोलन में सफलता मिली और इसके एक साल बाद सोशलिस्ट पार्टी ऑफ अमेरिका ने इस दिन को राष्ट्रीय महिला दिवस घोषित कर दिया था.  (100 शक्तिशाली महिलाओं की लिस्ट देखनेके लिए यहां करें क्लिक)

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