Eyelashes Nutritional Deficiencies: पलकें सिर्फ सुंदरता के लिए ही नहीं हैं, बल्कि आंखों की सुरक्षा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं. इसके अलावा सेहत के बारे में भी कई संकेत बताती हैं. पलकों की मोटाई, लंबाई या मजबूती में बदलाव पोषण की कमी, हार्मोनल असंतुलन, ऑटोइम्यून स्थितियों या पलकों के संक्रमण का संकेत हो सकते हैं. पलकें सिर के बालों की तुलना में धीरे-धीरे बढ़ती हैं. पलकें शरीर के अंदर की स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के बारे में पहले ही कुछ संकेत देती हैं. चलिए आपको बताते हैं पलकें किन समस्याओं का संकेत देती हैं.
पोषक तत्वों की कमी
पलकों का पतला होना, कम घना होना या कमजोर होना पोषण की कमी का संकेत हो सकता है बायोटिन, आयरन, जिंक, विटामिन डी और प्रोटीन जैसे पोषक तत्व पलकों के विकास के लिए आवश्यक हैं.
थायराइड और हार्मोनल असंतुलनजर्नल ऑफ क्लिनिकल एंड ट्रांसलेशनल एंडोक्रिनोलॉजी में 2024 में प्रकाशित एक रिपोर्ट में बताया गया है कि अनियंत्रित हाइपोथायरायडिज्म से पलकों का काफी झड़ना हो सकता है. पलकों की समस्याएं थायराइड और हार्मोनल असंतुलन का संकेत हो सकती हैं. हाइपोथायरायडिज्म या हाइपरथायराइडिज्म जैसी स्थितियां पलकों की पतली या कमजोर होने का कारण बन सकती हैं.
जर्नल ऑफ डर्मेटोलॉजी एंड क्लिनिकल रिसर्च में 2022 में प्रकाशित एक समीक्षा में पाया गया कि ऑटोइम्यून रोग, हार्मोनल विकार और अन्य चिकित्सीय स्थितियां पलकों और भौहों के पतले होने या झड़ने का कारण बन सकती हैं. पलकों की समस्याएं ऑटोइम्यून स्थितियों जैसे एलोपेसिया एरियाटा या तनाव के कारण हो सकती हैं.
पलक संक्रमण और सूजनपलकों की समस्याएं पलक संक्रमण या सूजन का संकेत हो सकती हैं. ब्लेफेराइटिस जैसी स्थितियां पलकों की पतली या कमजोर होने का कारण बन सकती हैं.
अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है. यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें. एनडीटीवी इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है.