केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने कहा, अल्पसंख्यकों पर EAC-PM के निष्कर्षों के बाद फोकस में आरक्षण

राजीव चन्द्रशेखर ने कहा, "क्या कोई जोखिम है कि अन्य अल्पसंख्यक समुदाय, जैसे पारसी, जैन, बौद्ध, सिख और ईसाई अल्पसंख्यकों के लिए बनाई गई योजनाओं और लाभों से वंचित हो जाएंगे?"

विज्ञापन
Read Time: 3 mins
केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर (फाइल फोटो).
नई दिल्ली:

केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर (Rajeev Chandrasekhar) ने आज कहा कि नए जनसंख्या अध्ययन के प्रभाव और परिणाम तय करने के लिए विभिन्न कोणों से जांच की जानी चाहिए. सबसे महत्वपूर्ण पहलू शिक्षा और नौकरियों में आरक्षण (Reservation) का होगा. अध्ययन में अन्य बातों के अलावा मुस्लिम (Muslim) समुदाय के तेजी से बढ़ने की बात सामने आई है. चंद्रशेखर ने कहा, "जब एक अल्पसंख्यक समुदाय बढ़ता है तो यह सवाल उठता है कि अवसरों के मामले में यह अन्य अल्पसंख्यक समुदायों (Minorities)को कैसे प्रभावित करता है."

राजीव चंद्रशेखर ने NDTV से एक विशेष इंटरव्यू में कहा कि, "क्या अन्य अल्पसंख्यक समुदाय, जैसे पारसी, जैन, बौद्ध, सिख और ईसाई अल्पसंख्यकों के लिए कोई जोखिम है, क्या वे अल्पसंख्यकों के लिए बनाई गई योजनाओं, लाभों, शिक्षा से लेकर नौकरियों तक के अवसरों से वंचित हो जाएंगे?" 

उन्होंने कहा कि, फिर अन्य पिछड़ा वर्ग जैसे अन्य समुदायों का भी सवाल होगा, जिन्हें दशकों से समान लाभ से वंचित किया गया है, खास तौर पर जब कांग्रेस के संदर्भ में देखा जाए तो "संविधान के खिलाफ जाने और उसी समुदाय को अधिक आरक्षण देने की बात की जा रही है." 

प्रधानमंत्री की आर्थिक सलाहकार परिषद (EAC) के आंकड़ों से पता चला है कि भारत में 1950 से 2015 के बीच हिंदू आबादी में 7.82 प्रतिशत की कमी आई है. इसी अवधि में मुसलमानों की आबादी में 43.15 प्रतिशत की वृद्धि हुई है. इससे पता चलता है कि देश में विविधता को बढ़ावा देने के लिए अनुकूल माहौल है.

चुनाव के बीच में आए इस अध्ययन ने विवाद पैदा कर दिया है. कई लोगों ने इसे "डराने वाला" बताया है. इस बारे में पूछे जाने पर चंद्रशेखर ने साफ किया कि जब तथ्यों की बात आती है तो समय अप्रासंगिक है.

उन्होंने कहा कि, "मुझे खास तौर पर तब ऐसा नहीं लगता कि जब कुछ सच्चाई सामने रखी जाती है, डेटा और तथ्य सामने रखे जाते हैं, चाहे वह चुनाव के दौरान हो, चुनाव से पहले हो या चुनाव के बाद, तथ्य तो तथ्य ही रहते हैं, सच्चाई तो सच्चाई ही रहती है. और लोगों के लिए असुविधाजनक सत्य से बचने और अधिक सुविधाजनक सत्य खोजने का कोई तरीका नहीं है." 

Advertisement
Featured Video Of The Day
Himachal Flash Flood: करोड़ों के Shirar Resort पर बरसा Beas River का कहर; VIDEO हुआ Viral | Manali