तिरुपति प्रसाद मामला: केंद्र ने आंध्र प्रदेश सरकार से मांगी रिपोर्ट

आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री और तेदेपा सुप्रीमो एन. चंद्रबाबू नायडू ने बुधवार को आरोप लगाया था कि पिछली वाईएसआरसीपी सरकार ने पवित्र मिठाई तिरुपति लड्डू बनाने में घटिया सामग्री और पशु चर्बी का इस्तेमाल किया था.

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तिरुपति प्रसाद मामला: केंद्र ने आंध्र प्रदेश सरकार से मांगी रिपोर्ट
नमूने लेने की तारीख नौ जुलाई, 2024 थी और प्रयोगशाला रिपोर्ट 16 जुलाई की थी.
नई दिल्ली:

विश्व प्रसिद्ध तिरुपति मंदिर के लड्डुओं (प्रसाद) को बनाने में जानवरों के फैट इस्तेमाल करने के मामले में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जे.पी. नड्डा ने आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू से विस्तृत रिपोर्ट मांगी है. साथ ही कहा कि सरकार मामले में आगे की जांच करेगी और उचित कार्रवाई करेगी. मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल के पहले 100 दिन पर एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए नड्डा ने कहा, ‘‘मुझे सोशल मीडिया के जरिए इस मुद्दे के बारे में पता चला. मैंने आज चंद्रबाबू नायडू से बात की और पूरी रिपोर्ट भेजने को कहा.'' उन्होंने कहा, ‘‘रिपोर्ट मिलने के बाद इसकी जांच की जाएगी और उचित कार्रवाई की जाएगी.''

दूसरी और आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन. चंद्रबाबू नायडू के दावे पर राजनीति शुरू हो गई है. आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री के दावे कि पिछली सरकार के दौरान तिरुपति के प्रसाद में पशु चर्बी का इस्तेमाल किया गया था. इस पर राज्य के पूर्व सीएम जगन मोहन रेड्डी की पार्टी YSRCP ने कहा है कि चंद्रबाबू नायडू ने तिरुपति मंदिर के प्रसाद को लेकर जो बयान दिया है वो बेहद घटिया है. कोई भी शख्स इस तरह के आरोप लगाने से पहले सोचेगा जरूर. नायडू राजनीति में कुछ भी कर गुजरने से पीछे नहीं हटेंगे.

सत्तारूढ़ तेलुगु देशम पार्टी (तेदेपा) ने बृहस्पतिवार को दावा किया था कि गुजरात स्थित पशुधन प्रयोगशाला द्वारा मिलावट की पुष्टि की गई है. तेदेपा प्रवक्ता अनम वेंकट रमण रेड्डी ने एक संवाददाता सम्मेलन में दावा किया था कि प्रसिद्ध श्री वेंकटेश्वर स्वामी मंदिर का प्रबंधन करने वाले तिरुमाला तिरुपति देवस्थानम (टीटीडी) द्वारा उपलब्ध कराए गए घी के नमूनों में गुजरात स्थित पशुधन प्रयोगशाला द्वारा मिलावट की पुष्टि की गई है.

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 उन्होंने कथित प्रयोगशाला रिपोर्ट दिखाई, जिसमें दिए गए घी के नमूने में “पशु की चर्बी”, “लार्ड” (सूअर की चर्बी से संबंधित) और मछली के तेल की मौजूदगी का भी दावा किया गया. नमूने लेने की तारीख नौ जुलाई, 2024 थी और प्रयोगशाला रिपोर्ट 16 जुलाई की थी.

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