नई दिल्ली: भारत ने बृहस्पतिवार को कहा कि म्यांमा के रखाइन प्रांत में सुरक्षा स्थिति ‘‘चिंताजनक'' है. इसने सितवे में भारतीय वाणिज्य दूतावास पर इसके संभावित असर को लेकर चिंता जताई. मंगलवार को, भारत ने बिगड़ती सुरक्षा स्थिति को देखते हुए रखाइन में अपने सभी नागरिकों से तुरंत अशांत क्षेत्र छोड़ने के लिए कहा था.
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने अपनी साप्ताहिक मीडिया वार्ता में कहा, ‘‘रखाइन राज्य में सुरक्षा स्थिति चिंताजनक है. हमने अपने नागरिकों को रखाइन छोड़ने के लिए एक परामर्श जारी किया है और यात्रा करने की योजना बना रहे लोगों से वहां न जाने के लिए कहा है.''
जायसवाल ने कहा कि उन्हें रखाइन में रहने वाले भारतीयों की सही संख्या की जानकारी नहीं है. उन्होंने कहा, ‘‘सितवे में हमारा वाणिज्य दूतावास है. सुरक्षा स्थिति का हमारे वाणिज्य दूतावास पर असर पड़ सकता है. हम स्थिति पर नजर रख रहे हैं और देखेंगे कि इससे कैसे निपटा जाए.''
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बृहस्पतिवार को कहा कि सरकार ने भारत-म्यांमा मुक्त आवाजाही व्यवस्था (एफएमआर) को खत्म करने का फैसला किया है. शाह ने ‘एक्स' पर कहा, ‘‘हमारी सीमाओं को सुरक्षित करना प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी का संकल्प है. गृह मंत्रालय ने फैसला किया है कि देश की आंतरिक सुरक्षा सुनिश्चित करने और म्यांमा की सीमा से लगे भारत के पूर्वोत्तर के राज्यों की जनसांख्यिकीय संरचना को बनाए रखने के लिए भारत और म्यांमा के बीच मुक्त आवाजाही व्यवस्था को खत्म कर दिया जाएगा.''
इससे दो दिन पहले शाह ने कहा था कि भारत ने पूरी 1,643 किलोमीटर लंबी भारत-म्यांमा सीमा पर बाड़ लगाने का फैसला किया है. म्यांमा में एक फरवरी, 2021 को तख्तापलट कर सेना के सत्ता पर काबिज होने के बाद से लोकतंत्र बहाल करने की मांग को लेकर व्यापक हिंसक प्रदर्शन हो रहे हैं. रखाइन राज्य और कई अन्य क्षेत्रों में पिछले साल अक्टूबर से हथियारबंद जातीय समूहों और म्यांमा सेना के बीच भीषण लड़ाई की सूचना मिली है.
पाकिस्तान में आम चुनाव को लेकर एक सवाल पर, जायसवाल ने टिप्पणी करने से इनकार कर दिया. अमेरिका में भारतीय छात्रों पर हुए हालिया हमलों के संबंध में उन्होंने कहा कि जॉर्जिया में विवेक सैनी की हत्या करने वाले हमलावर को गिरफ्तार कर लिया गया है. उन्होंने कहा कि स्थानीय अधिकारी मामले की जांच कर रहे हैं. जायसवाल ने कहा कि प्रारंभिक खबरों से पता चलता है कि सिनसिनाटी में एक भारतीय छात्र की मौत के मामले में कोई साजिश नहीं थी.