पटना. बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 'रामचरितमानस' के कुछ दोहों पर शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर की टिप्पणी से उपजे विवाद पर आज अपनी चुप्पी तोड़ दी. नीतीश कुमार ने कहा कि राज्य सरकार सभी धर्मों का सम्मान करती है. सभी को किसी भी धर्म का पालन करने की स्वतंत्रता की वकालत करती है. बिहार के मुख्यमंत्री की सफाई तब आई है, जब उनकी ही पार्टी के एक नेता ने, सहयोगी आरजेडी नेता चंद्रशेखर पर हमला किया और उनसे माफी मांगने या हिंदू धर्म छोड़ने को कहा.
नीतीश कुमार ने कहा, "हमारा विचार है कि धर्म कोई भी हो, कोई हस्तक्षेप नहीं होना चाहिए. इससे जुड़ा विवाद 'सब बकवास' है। उपमुख्यमंत्री(तेजस्वी यादव) ने भी इस बात को दोहराया है."
आरजेडी नेता और शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने मंगलवार को दावा किया था कि रामचरितमानस में कुछ पंक्तियां गलत हैं. उन्होंने यह भी कहा कि रामचरितमानस के कुछ हिस्से कुछ जातियों के खिलाफ भेदभाव का प्रचार करते हैं. इन्हें हटा देना चाहिए. राजधानी पटना में नालंदा ओपन विश्वविद्यालय के दीक्षांत समारोह में छात्रों को संबोधित करते हुए बिहार के शिक्षा मंत्री ने रामचरितमानस को लेकर विवादित बयान दिया था. समारोह के बाद जब उनसे फिर से उनके बयान पर सवाल किया गया, तो उन्होंने रामचरितमानस को लेकर कहे गए अपने शब्दों को सही बताया. इसके बाद विवाद बढ़ गया.
इसके बाद भाजपा समेत कई पार्टियों ने चंद्रशेखर के बयान पर आपत्ति जताई. केंद्रीय मंत्री अश्विनी कुमार चौबे ने कहा कि रामचरितमानस के बारे में जिसने कहा उन्हें ज्ञान अर्जित करने की आवश्कता है. उन्होंने करोड़ों लोगों की श्रद्धा पर जो चोट पहुंचाई है.