- मल्लिकार्जुन खरगे ने राज्यसभा के डिप्टी चेयरमैन को चिट्ठी लिखकर CISF के इस्तेमाल का आरोप लगाया
- खरगे ने चिट्ठी में कहा कि सदन में CISF का प्रयोग बहुत ही आपत्तिजनक है. इसकी उन्होंने निंदा की है.
- उन्होंने उम्मीद जताई कि भविष्य में CISF के जवान सदन के वेल में जनहित के मुद्दे उठाने के दौरान नहीं आएंगे.
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने राज्यसभा के डिप्टी चेयरमैन डॉ. हरिवंश को एक चिट्ठी लिखकर (Mallikarjun Kharge Letter) आरोप लगाया है कि सदन में विपक्ष की आवाज को दबाने के लिए CISF का इस्तेमाल किया गया था. संसद में CISF को बुलाया गया था. सांसद जयराम रमेश ने भी ऐसा ही आरोप लगाया है. उन्होंने खरगे के उस पत्र को शेयर भी किया है.
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खरगे की नाराजगी, राज्यसभा के डिप्टी चेयरमैन को लिखी चिट्ठी
खरगे के पत्र में कहा गया है कि वे कल भी इस कार्रवाई के गवाह थे और आज भी हैं. उन्होंने कहा है कि सदन में CISF का इस्तेमाल बहुत ही आपत्तिजनक है. इसकी वह स्पष्ट रूप से निंदा करते हैं. उन्होंने कहा उम्मीद है कि भविष्य में सीआईएसएफ के जवान सदन के वेल में तब नहीं आएंगे जब सदस्य जनहित के महत्वपूर्ण मुद्दे उठा रहे हों.
जयराम रमेश ने शेयर की खरगे की चिट्ठी
कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने एक्स पर एक पोस्ट कर कहा कि राज्यसभा के सभापति के अचानक इस्तीफे के बाद सदन पर सीआईएसएफ के जवानों का कब्ज़ा देखा जा रहा है. अपनी बात के समर्थन में उन्होंने राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे द्वारा राज्यसभा के उपसभापति को भेजे गए पत्र को शेयर किया है. जिसमें विपक्षी सदस्यों के विरोध के दौरान सदन के वेल में CISF कर्मियों के इस्तेमाल का विरोध किया गया है.