- दिल्ली-एनसीआर समेत देश के कई हिस्सों में अगले कुछ दिन और मॉनसूनी बारिश से राहत नहीं मिलने वाली है.
- भारतीय मौसम विभाग ने अगले कुछ दिनों में उत्तर पश्चिम भारत में भारी से अति भारी वर्षा की चेतावनी जारी की है.
- आईएमडी ने भारी वर्षा के कारण संभावित बाढ़, भूस्खलन और ट्रैफिक जाम से बचाव के लिए सतर्क रहने की सलाह दी है.
देशभर में मॉनसूनी बारिश ने आफत मचाई हुई है. पहाड़ी राज्यों जम्मू-कश्मीर, हिमाचल, उत्तराखंड से लेकर मैदानी राज्यों दिल्ली-एनसीआर, उत्तर प्रदेश, हरियाणा, महाराष्ट्र तक बारिश से बुरा हाल है. सोमवार को दिल्ली-एनसीआर में सुबह से रात तक ऐसी बारिश हुई कि जगह-जगह जलजमाव हो गया. बारिश के चलते नोएडा से लेकर दिल्ली और गुरुग्राम तक भयंकर जाम झेलना पड़ा. भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने अगले कुछ दिनों के लिए देश के कई हिस्सों में भारी से अति भारी वर्षा की चेतावनी जारी की है. तीन सितंबर तक उत्तर पश्चिम भारत, खासकर हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और पश्चिमी उत्तर प्रदेश में मूसलाधार बारिश की संभावना है.
हिमाचल प्रदेश के दक्षिणी जिलों में अगले दो दिन रेड अलर्ट जारी किया गया है, जबकि तीसरे दिन पूर्वी हिस्सों में भारी वर्षा का अंदेशा जताया गया है. पिछले 24 घंटों में हिमाचल, उत्तराखंड, पंजाब, पश्चिमी राजस्थान और तेलंगाना के कुछ हिस्सों में 21 सेंटीमीटर से अधिक वर्षा दर्ज की गई है. वहीं हरियाणा, चंडीगढ़, उत्तर प्रदेश और पूर्वी राजस्थान में भी बहुत भारी वर्षा (12-20 सें.मी.) देखी गई.
और भी ज्यादा हो सकती है बारिश
आईएमडी के अनुसार, बंगाल की खाड़ी में एक नया निम्न दबाव क्षेत्र बनने की संभावना है. साथ ही राजस्थान और ओडिशा-झारखंड तक साइक्लोनिक सर्कुलेशन और ट्रफ लाइन सक्रिय हैं, जिसके चलते बारिश का दायरा और बढ़ सकता है.
अगले एक सप्ताह तक देश के उत्तर-पश्चिमी और पश्चिमी तटीय राज्यों में बारिश का जोर रहेगा. हिमाचल प्रदेश और उत्तराखंड जैसे पहाड़ी राज्यों में रेड और ऑरेंज अलर्ट से स्थिति की गंभीरता स्पष्ट है. मौसम विभाग ने स्पष्ट किया है कि आने वाले दिनों में सावधानी और सतर्कता ही संभावित नुकसान को कम कर सकती है.
दिल्ली में कैसा रहेगा मौसम?
मौसम विभाग ने मंगलवार को आसमान में बादल छाए रहने और मध्यम बारिश होने का पूर्वानुमान किया है. मौसम पूर्वानुमान एजेंसी 'स्काइमेट' के मौसम विज्ञान और जलवायु परिवर्तन मामलों के उपाध्यक्ष महेश पलावत ने कहा कि दिल्ली में पांच सितंबर तक रुक-रुककर बारिश होती रहेगी. उन्होंने कहा, 'वर्षा का ये दौर मॉनसून और असामान्य रूप से सक्रिय पश्चिमी विक्षोभ के समयोजन से शुरू हुआ. इससे हिमालयी राज्यों में भारी वर्षा हो रही है और दिल्ली के मौसम पर भी इसका प्रभाव पड़ रहा है.'
मंगलवार को राजधानी का अधिकतम और न्यूनतम तापमान क्रमशः 31 और 22 डिग्री सेल्सियस के आसपास रहने की संभावना है. दिल्ली में सोमवार को अधिकतम तापमान 30.8 डिग्री सेल्सियस रहा जो सामान्य से 3.7 डिग्री कम है. न्यूनतम तापमान 23.7 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया, जो मौसम के औसत से 2.8 डिग्री सेल्सियस कम है.
पश्चिमी भारत में 6 सितंबर तक जोरदार बारिश
आईएमडी ने चेतावनी दी है कि गुजरात, कोंकण-गोवा, मध्य महाराष्ट्र और तटीय कर्नाटक में 3 से 6 सितंबर तक लगातार भारी वर्षा होगी. खासकर गुजरात में 4 और 5 सितंबर को अत्यंत भारी वर्षा की संभावना है, जिससे सौराष्ट्र-कच्छ और घाट क्षेत्रों में सामान्य जनजीवन प्रभावित हो सकता है. इसी तरह, विदर्भ, छत्तीसगढ़ और पश्चिमी मध्य प्रदेश में भी 3 से 5 सितंबर के बीच तेज वर्षा का दौर रहेगा.
पूर्वोत्तर राज्यों में भी बारिश का असर
2 सितंबर से ओडिशा, छत्तीसगढ़, विदर्भ और पश्चिम बंगाल के कई हिस्सों में जोरदार बारिश शुरू हो सकती है. पूर्वोत्तर राज्यों असम, मेघालय, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम और त्रिपुरा में भी लगातार भारी वर्षा का अनुमान है.
सावधानी बरतने की अपील
भारी वर्षा के चलते कई राज्यों में स्थानीय बाढ़, निचले इलाकों में जलभराव, सड़कों पर ट्रैफिक जाम और विजिबिलिटी घटने की आशंका है. कमजोर मकानों, कच्चे रास्तों और खड़ी फसलों को भी नुकसान पहुंच सकता है. पहाड़ी राज्यों हिमाचल और उत्तराखंड में भूस्खलन का खतरा बढ़ सकता है, जबकि नदियों का जलस्तर अचानक बढ़ने की आशंका है.
आईएमडी ने नागरिकों को सतर्क रहने और अनावश्यक यात्रा से बचने की सलाह दी है. साथ ही जिन इलाकों में जलभराव या भूस्खलन की संभावना है, वहां जाने से परहेज करने की चेतावनी दी गई है. ट्रैफिक जाम और आपात स्थिति से बचने के लिए लोगों को स्थानीय प्रशासन और मौसम विभाग की ताज़ा एडवाइजरी पर नज़र रखने की अपील की गई है.
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