दिल्ली में कांग्रेस मुख्यालय में पार्टी की बड़ी बैठक (Congress Meeting) हुई. इस बैठक की अध्यक्षता मल्लिकार्जुन खरगे ने की. इस बैठक में नेता राहुल गांधी भी मौजूद रहे. आगामी विधानसभा चुनाव की तैयारियों को लेकर यह बैठक काफी अहम मानी जा रही है. पार्टी मुख्यालय में हुई इस बैठक में सभी प्रदेश अध्यक्ष, प्रभारी, महासचिव और प्रदेश प्रभारी मौजूद रहे. लोकसभा चुनाव के बाद पार्टी की ऐसी पहली बैठक है, जिसमें सभी लोग मौजूद रहे.
बैठक के बाद मल्लिकार्जुन खरगे ने कहा कि हमारा ध्यान बेरोजगारी, बेलगाम महंगाई और घरेलू बचत में कमी जैसे गंभीर मुद्दों पर केंद्रित है. उन्होंने कहा कि कांग्रेस न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) के लिए कानूनी गारंटी की मांग को लेकर अपनी लड़ाई जारी रखेगी, अग्निपथ योजना को रद्द किया जाना चाहिए. संविधान पर हमला बदस्तूर जारी है, जिस पर हमारा ध्यान है.
विधानसभा चुनावों की तैयारियों पर चर्चा
सूत्रों के मुताबिक, इस बैठक में संगठन और आगामी विधानसभा चुनावों की तैयारियों को लेकर चर्चा की गई. महाराष्ट्र, हरियाणा और झारखंड में इस साल अक्टूबर-नवंबर महीने में विधानसभा चुनाव प्रस्तावित हैं. जम्मू-कश्मीर में भी इस साल विधानसभा चुनाव कराए जाने की संभावना है.
कांग्रेस नेतृत्व की पार्टी के महासचिवों, प्रदेश प्रभारियों और राज्य इकाइयों के प्रमुखों के साथ बैठक हुई बैठक में आगामी विधानसभा चुनावों की तैयारियों और संगठन को लेकर चर्चा की गई.अखिल भारतीय कांग्रेस कमेटी के मुख्यालय 24, अकबर रोड पर हुई इस बैठक में कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी, पार्टी के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल, महासचिव जयराम रमेश तथा कई अन्य वरिष्ठ नेता मौजूद रहे.
बैठक में किन मुद्दों पर चर्चा?
- आगामी विधानसभा चुनाव की तैयारियों पर चर्चा.
- जातिगत जनगणना की मांग पर भी बैठक में चर्चा.
- बेरोजगारी, बेलगाम महंगाई और घरेलू बचत में कमी पर चर्चा.
- एमएसपी के लिए कानूनी गारंटी की मांग पर चर्चा.
- अग्निपथ योजना को रद्द किए जाने की मांग जारी रखने पर चर्चा.
बैठक में कौन-कौन नेता मौजूद?
कांग्रेस मुख्यालय में हो रही बैठक में राहुल गांधी, मल्लिकार्जुन खरगे, भूपेश बघेल, उदय भान, अजॉय कुमार, सचिन पायलट, अजय माकन, दीपक बैज, अधीरंजन चौधरी, अजय राय, कुमारी शैलजा, दीपा दास मुंशी, गोविंद सिंह डोटासरा, वाईएस शर्मिला मुनियप्पा, डीके शिवकुमार, अखिलेश प्रसाद सिंह और राजीव शुक्ला समेत कई अन्य नेता शामिल हुए.