प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी बाली में जी-20 शिखर सम्मेलन में लेंगे हिस्सा, 15 और 16 नवंबर को होगा आयोजित

बाली में 15 और 16 नवंबर को होने वाला दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं का यह शिखर सम्मेलन नई दिल्ली के लिए काफी अहम है.

विज्ञापन
Read Time: 12 mins
नई दिल्ली:

 प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के इंडोनेशिया के बाली में जी-20 शिखर सम्मेलन में स्वास्थ्य, महामारी के बाद अर्थव्यवस्था के उबरने और ऊर्जा एवं खाद्य सुरक्षा के क्षेत्रों में प्रमुख वैश्विक चुनौतियों का समाधान करने के लिए भारत के दृष्टिकोण को सामने रखने की उम्मीद है. मोदी शिखर सम्मेलन में भाग लेने के लिए तीन दिवसीय यात्रा पर सोमवार को इंडोनेशियाई शहर बाली के लिए रवाना होंगे, जहां यूक्रेन संघर्ष और इसके प्रभावों सहित वैश्विक चुनौतियों पर व्यापक विचार-विमर्श होने की उम्मीद है.

बाली में 15 और 16 नवंबर को होने वाला दुनिया की सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं का यह शिखर सम्मेलन नई दिल्ली के लिए काफी अहम है, क्योंकि इस वार्षिक सम्मेलन के समापन समारोह में इंडोनेशिया जी-20 की अध्यक्षता भारत को सौंपेगा. मोदी और अन्य नेता वैश्विक अर्थव्यवस्था, ऊर्जा, पर्यावरण और डिजिटल परिवर्तन जैसे मुद्दों पर चर्चा करेंगे. शिखर सम्मेलन में अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन, ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक, फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, जर्मन चांसलर ओलाफ शोल्ज और चीनी राष्ट्रपति शी चिनफिंग भी हिस्सा लेंगे.

विदेश सचिव विनय क्वात्रा ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि शिखर सम्मेलन से इतर मोदी कई नेताओं के साथ अलग-अलग द्विपक्षीय बैठक करेंगे, लेकिन शी चिनफिंग के साथ बैठक होगी या नहीं, इस सवाल का उन्होंने कोई स्पष्ट जवाब नहीं दिया. क्वात्रा ने कहा, ‘‘अन्य नेताओं के साथ ये द्विपक्षीय बैठकें अभी निर्धारित होने की प्रक्रिया में हैं.''

दोनों नेताओं ने सितंबर में उज्बेकिस्तान के समरकंद में शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के वार्षिक शिखर सम्मेलन में भाग लिया था, लेकिन उनके बीच कोई द्विपक्षीय बैठक नहीं हुई थी. क्वात्रा ने कहा कि मोदी बाली में जी-20 शिखर सम्मेलन के तीन प्रमुख सत्रों-- खाद्य और ऊर्जा सुरक्षा, डिजिटल परिवर्तन और स्वास्थ्य-- में भाग लेंगे. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी और अन्य नेता वैश्विक अर्थव्यवस्था, ऊर्जा, पर्यावरण, स्वास्थ्य और डिजिटल परिवर्तन जैसे मुद्दों पर चर्चा करेंगे.

उन्होंने कहा, 'जी20 के नेता दुनिया के समक्ष चुनौतियों पर चर्चा करेंगे और इनसे निपटने में मदद के वास्ते बहुपक्षीय सहयोग के महत्व को रेखांकित करेंगे.' विदेश सचिव ने कहा कि शिखर सम्मेलन भारत के लिए बहुत अहम है, क्योंकि यह एक साल के लिए एक दिसंबर से समूह की अध्यक्षता करेगा.

क्वात्रा ने कहा, ‘‘अगले अध्यक्ष के रूप में भारत वैश्विक दक्षिण के हितों के मुद्दों को एक बड़ी आवाज प्रदान करने का प्रयास करेगा और संतुलित तरीके से जी20 एजेंडा को आगे बढ़ाएगा.'' इंडोनेशिया जी-20 का वर्तमान अध्यक्ष है. भारत एक दिसंबर से औपचारिक रूप से जी-20 की अध्यक्षता ग्रहण करेगा. जी-20 या 20 देशों का समूह दुनिया की प्रमुख विकसित और विकासशील अर्थव्यवस्थाओं का एक अंतर सरकारी मंच है. समूह में अर्जेंटीना, ऑस्ट्रेलिया, ब्राजील, कनाडा, चीन, फ्रांस, जर्मनी, भारत, इंडोनेशिया, इटली, जापान, कोरिया गणराज्य, मेक्सिको, रूस, सऊदी अरब, दक्षिण अफ्रीका, तुर्की, ब्रिटेन, अमेरिका और यूरोपीय संघ (ईयू) शामिल हैं.

जी-20 अंतरराष्ट्रीय आर्थिक सहयोग का प्रमुख मंच है, जो वैश्विक सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) का लगभग 85 प्रतिशत, वैश्विक व्यापार का 75 प्रतिशत से अधिक और विश्व की लगभग दो-तिहाई आबादी का प्रतिनिधित्व करता है. भारत वर्तमान में जी-20 ट्रोइका (जी-20 की वर्तमान, पिछली और आगामी अध्यक्षता) का हिस्सा है, जिसमें इंडोनेशिया, इटली और भारत शामिल हैं.

Advertisement

ये भी पढ़ें -

  1. रिटायरमेंट के बाद राज्यसभा सदस्य या राज्यपाल बनने के सवाल पर क्या बोले पूर्व CJI यूयू ललित
  2. VIDEO : AAP नेता को नहीं मिला MCD चुनाव का टिकट तो टावर पर चढ़ा, किया FB लाइव
  3. "अमित शाह की तरफ से पेश जरूर हुआ था लेकिन..." : NDTV से बोले पूर्व CJI यूयू ललित

Featured Video Of The Day
Taliban ने Qatar में Shehbaz सरकार की लगाई 'लंका', Durand Line पर Pakistan की हार! Mullah Yaqoob
Topics mentioned in this article