भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) ने गुरुवार को अंतरिक्ष में एक बार फिर से इतिहास रच दिया है. ‘स्पेस डॉकिंग एक्सपेरीमेंट' (स्पेडेक्स) के तहत उपग्रहों की सफलतापूर्वक ‘डॉकिंग' (ISRO Docking) की गई है. इसरो की इस सफलता से देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गद्गद् हैं. पीएम मोदी (PM Modi) ने इस ऐतिहासिक सफलता के लिए इसरो को बधाई दी है.
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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर पोस्ट कर लिखा, "उपग्रहों की अंतरिक्ष डॉकिंग की सफलता के लिए इसरो के हमारे वैज्ञानिकों और पूरे अंतरिक्ष समुदाय को बधाई. यह आने वाले सालों में भारत के महत्वाकांक्षी अंतरिक्ष मिशनों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है."
वहीं केंद्रीय विज्ञान और प्रौद्योगिकी राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने भी इस उपलब्धि के लिए इसरो को बधाई दी है. उन्होंने एक्स पर लिखा, इसरो ने आखिरकार यह कर दिखाया. SPADEX ने अविश्वसनीय उपलब्धि हासिल की है... डॉकिंग पूरी हो गई है और यह पूरी तरह स्वदेशी "भारतीय डॉकिंग सिस्टम" है. इससे भारतीय अंतरिक्ष स्टेशन और चंद्रयान 4 और गगनयान समेत भविष्य के महत्वाकांक्षी मिशनों के सुचारू संचालन का मार्ग प्रशस्त होगा. पीएम मोदी का निरंतर संरक्षण बेंगलुरु में उत्साह को बढ़ाता रहता है.
ISRO ने क्या किया, जिसकी हर ओर चर्चा
डॉकिंग का मतलब दो चीजों को आपस में जोड़ना होता है. इसरो ने पहली बार दो छोटे सैटेलाइट्स को अंतरिक्ष में करीब लाकर डॉकिंग यानी कि जोड़ने का काम किया है. ऐसा करने वाला भारत दुनिया में चौथा देश बन गया है. भारत, रूस और चीन के बाद यह उपलब्धि अब भारत के नाम पर जुड़ गई है.
30 दिसंबर को शुरू हुआ था ‘स्पेस डॉकिंग एक्सपेरीमेंट' मिशन
बता दें कि इसरो ने 12 जनवरी को उपग्रहों को ‘डॉक' करने के परीक्षण के लिए दो अंतरिक्ष यानों को 3 मीटर की दूरी पर लाकर और फिर सुरक्षित दूरी पर वापस भेजा था. इसरो ने ‘स्पेस डॉकिंग एक्सपेरीमेंट' (स्पेडेक्स) मिशन को 30 दिसंबर, 2024 को सफलतापूर्वक शुरू किया था.