पेट्रोल-डीजल के दाम नई ऊंचाई पर, पेट्रोलियम कंपनी ने कहा, ''सिर्फ सरकार कर सकती है मदद''

पेट्रोलियम विपणन कंपनियों ने कहा है कि सरकार करों में कटौती के जरिये उपभोक्ताओं के बोझ को कम कर सकती है.

विज्ञापन
Read Time: 11 mins
पेट्रोल-डीजल, दोनों ईंधनों के दाम 35-35 पैसे प्रति लीटर बढ़ाए गए हैं (प्रतीकात्‍मक फोटो)
नई दिल्‍ली:

देश में पेट्रोल-डीजल की कीमतें (Prices of petrol and diesel) गुरुवार को नए रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गईं. हाल के समय में वाहन ईंधन कीमतों में सबसे बड़ी वृद्धि की गई है. पेट्रोलियम विपणन कंपनियों ने कहा है कि सरकार करों में कटौती के जरिये उपभोक्ताओं के बोझ को कम कर सकती है. सार्वजनिक क्षेत्र की पेट्रोलियम विपणन कंपनियों की मूल्य अधिसूचना के अनुसार, करीब एक सप्ताह के अंतराल के बाद पेट्रोल और डीजल दोनों ईंधनों के दाम 35-35 पैसे प्रति लीटर बढ़ाए गए हैं. इस वृद्धि के बाद दिल्ली में पेट्रोल 86.65 रुपये प्रति लीटर के नए उच्च स्तर पर पहुंच गया है. वहीं मुंबई में पेट्रोल 93.20 रुपये प्रति लीटर की नई ऊंचाई पर पहुंच गया है. इसी तरह दिल्ली में डीजल 76.83 रुपये प्रति लीटर हो गया है. मुंबई यह 83.67 रुपये प्रति लीटर के अपने सर्वकालिक उच्चस्तर पर पहुंच गया है. 

अजय माकन ने पूछा- वे 20 लाख करोड़ गए कहां जो सरकार ने पेट्रोल-डीजल से कमाए?

देश की तीसरी सबसे बड़ी पेट्रोलियम विपणन कंपनी हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉरपोरेशन (HPCL) के प्रमुख मुकेश कुमार सुराना ने कहा कि पिछले दो-तीन दिन में अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल के दाम अचानक बढ़कर 59 डॉलर प्रति बैरल पर पहुंच गए हैं. मांग और आपूर्ति में अंतर की अवधारणा के अलावा सऊदी अरब द्वारा उत्पादन में कटौती की वजह से कीमतों में तेजी आई है. वाहन ईंधन के खुदरा दाम उत्पादन की बेंचमार्क लागत के ऊपर केंद्र और राज्यों के कर के अलावा डीलर का कमीशन जोड़कर निकाले जाते हैं. सुराना ने कहा, ‘‘पेट्रोल पंप पर वाहन ईंधन के खुदरा दाम का सिर्फ 25 से 30 प्रतिशत अंतरराष्ट्रीय बेंचमार्क लागत पर निर्भर करता है. शेष केंद्र और राज्यों का कर होता है.' 

तेल उत्पादक देशों द्वारा कम उत्पादन करने से पेट्रोल-डीजल की कीमतों में आई है तेजी : प्रधान

उन्होंने कहा, ‘‘हमारे पास बेंचमार्क लागत में बढ़ोतरी का बोझ ग्राहकों पर डालने के अलावा कोई विकल्प नहीं है.'' सरकार के पास इसके लिए कराधान है. उन्होंने कहा कि मार्जिन काफी कम है. ‘‘सरकार इस बात का जवाब दे सकती है कि कीमतों को कैसे रोका जाए.'' पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने बुधवार को राज्यसभा में एक लिखित जवाब में कहा था कि दिल्ली में पेट्रोल के दाम में केंद्र सरकार के उत्पाद शुल्क का हिस्सा 32.98 रुपये है. वहीं इसमें राज्य सरकार के बिक्री कर या मूल्य वर्धित कर (वैट) का हिस्सा 19.55 रुपये है.

Advertisement
(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
Featured Video Of The Day
Russia Ukraine War: रूस और यूक्रेन के बीच युद्ध को 1000 दिन पूरे हो गए क्या कुछ बदला | NDTV India
Topics mentioned in this article