ओडिशा के बालासोर में शुक्रवार शाम को हुए भयानक रेल हादसे में 200 से अधिक लोगों की मौत हो गई और 900 से अधिक घायल हो गए. ये हादसा तब हुआ, जब शालीमार-चेन्नई सेंट्रल कोरोमंडल एक्सप्रेस पटरी से उतर गई और लूप ट्रैक पर खड़ी मालगाड़ी से टकरा गई. पटरी से उतरे डिब्बों से बेंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस भी टकरा गई. जिससे इस हादसे की भयावहता का अंदाजा लगाया जा सकता है.
इस दुर्घटना से बचने का दावा करने वाले एक ट्विटर यूजर ने कहा, "हावड़ा से चेन्नई जाने वाली कोरोमंडल एक्सप्रेस में एक यात्री के रूप में मैं बहुत शुक्रगुजार हूं कि मैं बाल-बाल बच गया. यह संभवत: ट्रेन दुर्घटना से जुड़ी सबसे बड़ी घटना है." बेंगलुरु-हावड़ा सुपरफास्ट एक्सप्रेस के तीन जनरल कोच पूरी तरह से क्षतिग्रस्त और पटरी से उतर गए, अनुभव दास नाम के ट्विटर यूजर ने कहा, कोरोमंडल एक्सप्रेस के जनरल, स्लीपर, एसी 3 टियर और एसी 2 टियर सहित लगभग 13 कोच "पूरी तरह से क्षतिग्रस्त" हैं. उन्होंने व्यक्तिगत रूप से 200-250 से अधिक मौतों को देखने का दावा किया.
हालांकि एनडीटीवी इसे सत्यापित नहीं कर सकता है कि यात्री वास्तव में किसी एक ट्रेन में यात्रा कर रहा था या नहीं. उन्होंने कहा, "परिवार कुचल गए, अंगहीन शरीर और खून से सनी रेल की पटरियां. यह एक ऐसा दृश्य था जिसे मैं कभी नहीं भूलूंगा. भगवान परिवारों की मदद करें, मेरी संवेदनाएं उनके साथ है." ताजा रिपोर्ट का हवाला देते हुए, ओडिशा के मुख्य सचिव पीके जेना ने कहा कि मौत की संख्या 233 है, जबकि बालासोर जिले में हुई दुर्घटना में लगभग 900 लोग घायल हो गए.
इसके साथ ही उन्होंने बताया कि फिलहाल राहत एंव बचाव कार्य जारी है और आसपास के जिलों के सभी अस्पतालों को अलर्ट पर रखा गया है. ओडिशा के मुख्य सचिव प्रदीप ने एनडीटीवी को बताया कि एनडीआरएफ की तीन यूनिट, ओडिशा आपदा रैपिड एक्शन फोर्स की 4 यूनिट, 15 से अधिक अग्निशमन दल, 30 डॉक्टर, 200 पुलिस कर्मी और 60 एंबुलेंस को घटनास्थल पर भेजा गया है.
प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने भी दुर्घटना पर दुख व्यक्त किया और पीएम के राष्ट्रीय राहत कोष (पीएमएनआरएफ) से मृतकों के परिवार के लिए 2 लाख रुपये और घायलों के लिए 50,000 रुपये के मुआवजे की घोषणा की.