पाक से प्रताड़ित हिंदू शरणार्थियों ने छत्तीसगढ़ में रहने की लगाई गुहार, कहा-'पाकिस्तान नहीं लौटेंगे, यही है हमारा देश'

20 अप्रैल को सीमा पार कर भारत आए इन शरणार्थियों ने शनिवार को रायपुर में छत्तीसगढ़ के गृह मंत्री विजय शर्मा से मुलाकात की. फिलहाल ये सभी रायपुर के शदाणी दरबार में शरण लिए हुए हैं. इन शरणार्थी परिवारों ने आईएएनएस से बात करते हुए अपनी व्यथा साझा की.

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जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत सरकार ने पाकिस्तान से आए सभी लोगों के वीजा रद्द कर उन्हें वापस भेजने के निर्देश जारी किए हैं. इसी बीच, पाकिस्तान के सिंध प्रांत से प्रताड़ित होकर भारत पहुंचे हिंदू शरणार्थियों ने छत्तीसगढ़ सरकार से प्रदेश में स्थायी रूप से रहने की अपील की है.

20 अप्रैल को सीमा पार कर भारत आए इन शरणार्थियों ने शनिवार को रायपुर में छत्तीसगढ़ के गृह मंत्री विजय शर्मा से मुलाकात की. फिलहाल ये सभी रायपुर के शदाणी दरबार में शरण लिए हुए हैं. इन शरणार्थी परिवारों ने आईएएनएस से बात करते हुए अपनी व्यथा साझा की.

सिंध से आए रवि कुमार ने कहा, "हम पाकिस्तान छोड़कर हमेशा के लिए आए हैं. वहां हम पर डाकुओं ने हमला किया, गोली मारी गई. हमें आजादी नहीं थी, न कारोबार कर सकते थे. मजबूरी में सब कुछ छोड़कर भारत आए हैं. अब वापस पाकिस्तान जाने का सवाल ही नहीं उठता."

उन्होंने छत्तीसगढ़ सरकार का आभार जताते हुए कहा कि अगर सरकार उन्हें यहीं रहने की अनुमति देती है, तो वे अपने परिवार का भविष्य यहीं सुरक्षित करना चाहते हैं. जम्मू के आतंकी हमले पर प्रतिक्रिया देते हुए रवि कुमार ने कहा, "आतंकवादी न हिंदू के दोस्त हैं न मुसलमान के. जो निर्दोषों को मारता है, वह इंसान नहीं जालिम है."

जिला घोटकी, सिंध से आए सहदेव कुमार ने कहा, "हम हिंदू हैं और हिंदुस्तान के अलावा कहीं नहीं जा सकते. अगर हमें यहां से निकाला गया तो हम कहां जाएंगे? बंटवारे के समय कुछ लोग उधर चले गए, कुछ इधर रह गए. अब हम लौटने नहीं आए हैं, बल्कि हमेशा के लिए यहां बसने आए हैं."

उन्होंने बताया कि डिप्टी सीएम विजय शर्मा ने उन्हें भरोसा दिलाया है कि वे कागजी कार्रवाई पूरी करें, किसी को भी वापस नहीं भेजा जाएगा. साथ ही पुलिस अधीक्षक को निर्देश दिया गया है कि शरणार्थियों के दस्तावेज जल्द से जल्द पूरे किए जाएं.

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सहदेव कुमार ने भावुक होकर कहा, "अगर हमें पाकिस्तान भेजा गया तो वह हमारी मौत के समान होगा. हमें अपनी मातृभूमि हिंदुस्तान में ही जीने का हक चाहिए. हमने अपने गुरु जी की शरण ली है और यहीं रहकर मेहनत-मजदूरी कर अपने बच्चों का भविष्य बनाना चाहते हैं."

सूत्रों के अनुसार, छत्तीसगढ़ सरकार शरणार्थियों के निवेदन पर सहानुभूतिपूर्वक विचार कर रही है. गृह मंत्री विजय शर्मा ने भरोसा दिलाया है कि इंसानियत के आधार पर इन हिंदू शरणार्थियों को राहत दी जाएगी और कागजी प्रक्रिया के बाद उनके निवास की व्यवस्था सुनिश्चित की जाएगी.

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(इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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