Parliament Updates: लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर चर्चा का जवाब देते हुए पीएम मोदी ने कहा कि विविधिता के बावजूद हम एक राष्ट्र हैं. विकट और विपरीत काल में भी ये देश किस प्रकार से अपना रास्ता चुनता है, रास्ता तय करता है और रास्ते पर चलते हुए सफलता प्राप्त करता है, ये सब राष्ट्रपति जी ने अपने अभिभाषण में कहा है. उन्होंने कहा कि राष्ट्रपति जी का भाषण भारत के 130 करोड़ भारतीयों की संकल्प शक्ति को प्रदर्शित करता है. विकट और विपरीत काल में भी ये देश किस प्रकार से अपना रास्ता चुनता है, रास्ता तय करता है और रास्ते पर चलते हुए सफलता प्राप्त करता है, ये सब राष्ट्रपति जी ने अपने अभिभाषण में कहा. मैं इस चर्चा में भाग लेने वाले सभी सांसदों का आभार व्यक्त करता हूं. मैं विशेष रूप से हमारी महिला सांसदों का आभार व्यक्त करना चाहता हूं.
पीएम मोदी ने कृषि कानूनों को लेकर कहा कि मैं किसानों से पूछना चाहता हूं कि जो व्यवस्थाएं उनके पास पहले थीं, उनमें से किसी चीज को नए कानून को छीन लिया है क्या. कृषि कानूनों में जो व्यवस्था है वो ऑप्शनल है. नए कानून किसी के लिए बंधन नहीं है,उनके लिए सिर्फ ऑप्शन है. जहां ऑप्शन हैं, वहां विरोध का कारण ही नहीं बनता. पुरानी मंडियों पर कोई पाबंदी नहीं, बल्कि इन पुरानी मंडियों को सुधारने के लिए और बजट की व्यवस्था की गई है.
पीएम मोदी ने आगे कहा कि एक नया शब्द सुना कि हमने मांगा नहीं तो ये कानून दिया क्यों, तो कहना चाहता हूं कि ये अनिवार्य नहीं है, ये विकल्प के तौर पर है. तीन तलाक को लेकर किसी ने मांग नहीं की थी लेकिन कानून बनाया गया. बालविवाह के लिए कानून, शादी की उम्र बढ़ाने के लिए कानून के लिए किसी ने मांग नहीं की थी, लेकिन कानून बनाए गए क्योंकि समाज की प्रगति बदलाव के लिए आवश्यक हुआ तो कानून बने.
पीएम मोदी ने कांग्रेस पर भी निशाना साधा. उन्होंने कहा कि देश की सबसे पुरानी पार्टी जिसने करीब 6 दशकों तक शासन किया, उसका ये हाल हो गया है कि पार्टी का राज्यसभा धड़ा एकतरफ चलता है और लोकसभा का अलग. ऐसी डिवाइडेड पार्टी या कहें कंफ्यूज पार्टी न खुद का भला कर सकती है न देश का. राज्यसभा में जो तबका है वो उमंग के साथ चर्चा करता है.वहीं ये कांग्रेस का दूसरा तबका है. कांग्रेस पार्टी ने लगातार हो रहे हमलों के बाद लोकसभा से वॉकआउट कर दिया.
Budget Session Updates in Hindi:
जो कृषि कानूनों पर इतने दावे करते हैं कि मैं नहीं मानता कि उन्हें कुछ पता नहीं था, उन्हें उनकी बात याद दिलाना चाहता हूं. शरद पवार ने कृषि कानूनों पर पहले कुछ कहा और अब दूसरी बात कहते हैं.
हमने सुधारों और बदलावों के लिए काम करना चाहिए. मांगने के लिए मजबूर करने वाली सोच लोकतंत्र की सोच नहीं हो सकती है.
कृषि कानूनों को लेकर पीएम मोदी ने कहा कि देश के कुछ हिस्सों में इसका लाभ होगा तो हो सकता है कुछ इलाकों में नुकसान भी हो. हमने समाज की प्रगति के लिये कानून बनाया है. बेटियों को संपत्ति देने का अधिकार देने की मांग किसी ने नहीं की थी, लेकिन हमने कानून बनाया क्योंकि हम प्रगतिवादी सोच के साथ नागरिकों को अधिकार देना चाहते हैं.
बीच में हंगामा होते देख पीएम मोदी ने कहा- ये हंगामा सोची समझी रणनीति के तहत है. जो झूठ और अफवाहें फैलाई जा रही हैं ताकि सत्य किसानों तक न पहुंचे. इसलिए हो हल्ला कर रहे हैं.
बीच में हंगामा होते देख पीएम मोदी ने कहा- ये हंगामा सोची समझी रणनीति के तहत है. जो झूठ और अफवाहें फैलाई जा रही हैं ताकि सत्य किसानों तक न पहुंचे. इसलिए हो हल्ला कर रहे हैं.
कुछ लोग ये कहते थे कि India was a miracle democracy. ये भ्रम भी हमने तोड़ा है. लोकतंत्र हमारी रगों और सांस में बुना हुआ है, हमारी हर सोच, हर पहल, हर प्रयास लोकतंत्र की भावना से भरा हुआ रहता है.
प्रधानमंत्री के राष्ट्रपति के अभिभाषण पर बोलने के बाद उम्मीद है कि आज राहुल गांधी आम बजट पर अपनी बात लोकसभा में रखेंगे.
सिंह ने अप्रैल 1972 से अप्रैल 1978 तक उच्च सदन में मध्य प्रदेश का प्रतिनिधित्व किया था. वह पहली बार 1962 में मध्य प्रदेश विधानसभा के सदस्य बने. वह मध्य प्रदेश सरकार में मंत्री भी रहे थे. वह बाद में छत्तीसगढ़ विधानसभा के भी सदस्य बने.