- ममता बनर्जी ने करीब 20 साल बाद टाटा समूह के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन के साथ कोलकाता में औपचारिक बैठक की, जो दोनों के बीच नई शुरुआत का संकेत है.
- 2006 में ममता बनर्जी ने सिंगूर में टाटा मोटर्स के प्लांट के लिए किसानों की जमीन जबरन अधिग्रहण के खिलाफ आंदोलन का नेतृत्व किया था.
- टाटा समूह को 2008 में सिंगूर प्रोजेक्ट गुजरात ट्रांसफर करना पड़ा था, जिससे ममता बनर्जी और टाटा के बीच विवाद गहरा गया था.
कभी टाटा मोटर्स के सिंगूर प्लांट को लेकर हुए बड़े विवाद की अगुआई करने वाली ममता बनर्जी अब उसी टाटा समूह के साथ नई शुरुआत की तरफ बढ़ती दिख रही हैं. करीब 20 साल बाद, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और टाटा सन्स के चेयरमैन एन चंद्रशेखरन की कोलकाता में अहम मुलाकात हुई. माना जा रहा है कि दोनों के बीच अब पुरानी तल्खियां लगभग खत्म हो गई हैं. टाटा समूह का बंगाल लौटना और वहां निवेश बढ़ाना अगर साकार होता है, तो ये राज्य के औद्योगिक विकास के लिए बड़ी बात हो सकती है.
...तब सड़क से सदन तक छेड़ा था संग्राम
2006 में ममता बनर्जी ने सिंगूर में टाटा मोटर्स के प्लांट के लिए किसानों की जमीन जबरन लिए जाने के खिलाफ जोरदार आंदोलन किया था. उस समय पश्चिम बंगाल में वामपंथी सरकार थी और ममता सड़कों से लेकर विधानसभा तक इसके खिलाफ लड़ रही थीं. सिंगूर आंदोलन और उसके बाद 2007 का नंदीग्राम आंदोलन, ममता को 2011 में सत्ता तक पहुंचाने में अहम साबित हुए.
हालांकि टाटा समूह ने 2008 में सिंगूर से अपना प्रोजेक्ट गुजरात शिफ्ट कर दिया. रतन टाटा ने तब कहा था कि 'ममता बनर्जी ने ट्रिगर खींचा', यानी कंपनी को बंगाल से जाने के लिए मजबूर किया. ममता ने उस वक्त जवाब दिया था – 'ये दुर्भाग्यपूर्ण बयान है. मुझे सिंगूर से टाटा के जाने के लिए जिम्मेदार ठहराना गलत है.'
...अब नई शुरुआत की तरफ बढ़ते कदम
बुधवार को ममता बनर्जी और टाटा समूह के मौजूदा चेयरमैन एन चंद्रशेखरन की कोलकाता में पहली बार आधिकारिक मुलाकात हुई. यह ममता के मुख्यमंत्री बनने के बाद इस स्तर की पहली बैठक थी. तृणमूल कांग्रेस ने इस बैठक को 'बंगाल में टाटा समूह की भागीदारी बढ़ाने पर केंद्रित रचनात्मक बातचीत' बताया.
पार्टी ने एक्स (पूर्व ट्विटर) पर फोटो साझा करते हुए लिखा, 'मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने टाटा सन्स और टाटा समूह के चेयरमैन एन. चंद्रशेखरन के साथ बंगाल की औद्योगिक प्रगति और नए अवसरों को लेकर रचनात्मक चर्चा की.'
उन्होंने आगे कहा, 'यह बैठक सार्वजनिक और निजी भागीदारी को मजबूत करने की दिशा में बंगाल की प्रतिबद्धता को दर्शाती है, जो नवाचार, निवेश और समावेशी विकास को आगे बढ़ाएगी.'
पहले भी दिखे थे मेल-जोल के संकेत
इस साल की शुरुआत में ही बंगाल ग्लोबल बिजनेस समिट के दौरान ममता बनर्जी ने कहा था कि उन्होंने चंद्रशेखरन से फोन पर बात की है. ममता ने दावा किया कि टाटा समूह बंगाल में निवेश के लिए इच्छुक है. एयर इंडिया के चेयरमैन चंद्रशेखरन को लेकर उन्होंने ये भी कहा था, 'मैंने उनसे कोलकाता से यूरोप के लिए डायरेक्ट फ्लाइट शुरू करने की भी गुजारिश की है. उन्होंने ना-नुकुर नहीं की, उनकी आवाज सकारात्मक लगी.' राजनीतिक हलक में दोनों की ताजा मुलाकात की खूब चर्चा है.