लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Elections 2024) के मद्देनजर भारतीय जनता पार्टी (BJP) और जनता दल सेक्युलर (JDS) ने कर्नाटक की 28 लोकसभा सीटों के लिए गठबंधन किया है. गठबंधन के तहत BJP वोक्कालिगा बेल्ट में 25 और JDS 3 सीटों पर चुनाव लड़ेगी. वोक्कालिगा बहुल इन सीटों पर BJP की पकड़ कमजोर है. 2023 के विधानसभा चुनाव में BJP को कांग्रेस से करारी शिकस्त का सामना करना पड़ा था. हालांकि, कुछ सीटों पर उम्मीदवारी को लेकर BJP के अंदर ही मतभेद उभरने लगे हैं, जिसका नुकसान पार्टी के 370 सीटों के लक्ष्य पर पड़ सकता है. क्योंकि, पीएम मोदी ने इस लोकसभा चुनाव में NDA के लिए 400 पार सीटों का लक्ष्य रखा है. जबकि अकेले BJP को 370 सीटों का टारगेट दिया है. 370 का टारगेट हासिल करने के लिए पीएम मोदी और BJP का फोकस दक्षिण भारत की 5 राज्यों आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, केरल, तमिलनाडु और तेलंगाना में है.
कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने इस सौदे की सराहना की. उन्होंने दोनों दलों के बीच कोई टकराव नहीं होने के बयान के साथ पूरक वोट बैंकों (Complementary Vote Banks) की ओर इशारा किया. बोम्मई ने इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और पूर्व प्रधानमंत्री एचडी देवेगौड़ा (जो जेडीएस के संस्थापक और संरक्षक हैं) के बीच अच्छे संबंध का संकेत भी दिया.
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BJP की चिकबल्लापुर में उम्मीदवारी की लड़ाई
कर्नाटक में BJP की सबसे बड़ी दुविधा दक्षिणी कर्नाटक के चिकबल्लापुर में है. यहां BJP के उम्मीदवार की पसंद के कारण उसके भीतर कलह पैदा हो गई है. सोमवार को पार्टी ने बसवराज बोम्मई सरकार में स्वास्थ्य मंत्री के सुधाकर को चिकबल्लापुर से उम्मीदवार घोषित किया. सुधाकर को उम्मीदवार बनाए जाने से येलहंका विधायक एसआर विश्वनाथ ने नाखुशी जाहिर की है. उनका विधानसभा क्षेत्र चिकबल्लापुर संसदीय क्षेत्र के अंतर्गत आता है.
वहीं, BJP उम्मीदवार सुधाकर ने कहा, "एसआर विश्वनाथ एक वरिष्ठ नेता हैं. उन्होंने अपने बेटे के लिए सीट हासिल करने की कोशिश की, जो गलत नहीं है. लेकिन पार्टी ने हर चीज पर विचार करने के बाद मुझे चुनाव लड़ाने का फैसला किया है. मैं उनसे बात करूंगा."
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तुमकुरु में भी मिलेगी चुनौती
तुमकुरु में भी BJP को चुनौती मिल सकती है. ये सीट चिकबल्लापुर से 100 किमी से भी कम दूरी पर है. हाल ही में यहां JDS-BJP के नेता एक संयुक्त बैठक में आमने-सामने आ गए थे. अब इस लोकसभा चुनाव में दोनों पार्टियों को यहां से बड़ी चुनौती मिलने की संभावना है. हालांकि, BJP-JDS ने छोटे-मोटे मतभेदों को दरकिनार कर दिया है.
हसन में भी हो सकती है दिक्कतें
चिकबल्लापुर की तरह हसन में भी दोनों पक्षों के वरिष्ठ नेताओं में जमीनी स्तर पर समन्वय को लेकर मतभेद है. फिलहाल BJP ने यहां भी आशंकाओं को खारिज कर दिया है. BJP के राष्ट्रीय महासचिव सीटी रवि ने कहा, "छोटे-मोटे मतभेद पैदा होंगे. ऐसे छोटे झगड़े हो सकते हैं, लेकिन तुमकुरु में हम जीतेंगे और मांड्या में JDS जीतेगी. चुनाव में हम एक-दूसरे की मदद करेंगे."
बता दें कि 2024 के लोकसभा चुनाव में कर्नाटक में दो फेज में मतदान होगा. पहले फेज की वोटिंग 26 अप्रैल को होगी और 7 मई को दूसरे फेज की वोटिंग होगी. 2019 के चुनाव में BJP ने राज्य की 28 में से 25 सीटों पर जीत हासिल की थी. कांग्रेस और JDS ने एक-एक सीट जीती, जबकि एक सीट पर निर्दलीय उम्मीदवार ने जीत हासिल की.
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