LIC के IPO को अंतिम दिन मिला करीब तीन गुना अभिदान, सरकार ने जुटाए ₹ 21 हजार करोड़, 10 बातें

सार्वजनिक क्षेत्र की भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) के आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (IPO) को निर्गम के अंतिम दिन सोमवार को 2.95 गुना अभिदान मिला. इस तरह सरकार करीब 21,000 करोड़ रुपये जुटाने में सफल रही.

विज्ञापन
Read Time: 3 mins
प्रतीकात्‍मक फोटो
नई दिल्‍ली:

सार्वजनिक क्षेत्र की भारतीय जीवन बीमा निगम (LIC) के आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (IPO) को निर्गम के अंतिम दिन सोमवार को 2.95 गुना अभिदान मिला. इस तरह सरकार करीब 21,000 करोड़ रुपये जुटाने में सफल रही.

मामले से जुड़ीं 10 खास बातें
  1. एलआईसी के आईपीओ के तहत 16,20,78,067 शेयरों की पेशकश की गई थी. शेयर बाजारों पर शाम सात बजे तक उपलब्ध आंकड़ों के मुताबिक, इन शेयरों के लिए निवेशकों की तरफ से 47,83,25,760 बोलियां लगाई गईं. 
  2. पात्र संस्थागत खरीदार (क्यूआईबी) श्रेणी के शेयरों को 2.83 गुना अभिदान मिला. इस श्रेणी के लिए आरक्षित 3.95 करोड़ शेयरों के लिए 11.20 करोड़ बोलियां लगाई गईं.
  3. गैर-संस्थागत निवेशक (एनआईआई) श्रेणी के तहत 2,96,48,427 शेयरों की पेशकश की गई थी जिनके लिए 8,61,93,060 बोलियां लगाई गईं. इस तरह एनआईआई खंड को 2.91 गुना अभिदान मिला है.
  4. खुदरा व्यक्तिगत निवेशकों ने 6.9 करोड़ शेयरों की पेशकश पर 13.77 करोड़ शेयरों की बोलियां लगाईं. इस खंड में 1.99 गुना अभिदान मिला है.
  5. एलआईसी के पॉलिसीधारकों के लिए आरक्षित खंड में छह गुना से अधिक अभिदान मिला है जबकि एलआईसी के पात्र कर्मचारियों के खंड में 4.4 गुना बोलियां मिली हैं.
  6. एलआईसी ने चार मई को खुले इस निर्गम के लिए 902-949 रुपये प्रति शेयर का मूल्य दायरा तय किया था. इसमें पात्र पॉलिसीधारकों एवं कर्मचारियों के लिए कुछ शेयर आरक्षित रखे जाने के अलावा उन्हें छूट भी दी गई थी.
  7. Advertisement
  8. सरकार ने इस निर्गम के जरिये एलआईसी में अपनी 3.5 फीसदी हिस्सेदारी की बिक्री करने का फैसला किया है. 
  9. इस हिस्सेदारी की बिक्री से सरकार को करीब 20,557 करोड़ रुपये मिलने की उम्मीद थी.इस राशि के साथ एलआईसी का निर्गम देश का अबतक का सबसे बड़ा आईपीओ साबित हुआ है. 
  10. Advertisement
  11. इसके पहले वर्ष 2021 में आया पेटीएम का आईपीओ 18,300 करोड़ रुपये का था. उससे पहले वर्ष 2010 में कोल इंडिया का आईपीओ करीब 15,500 करोड़ रुपये का था.
  12. एलआईसी का गठन एक सितंबर, 1956 को 245 निजी जीवन बीमा कंपनियों का राष्ट्रीयकरण कर किया गया था. उस समय इसमें पांच करोड़ रुपये की पूंजी डाली गई थी.समय बीतने के साथ एलआईसी देश की सबसे बड़ी कंपनी बन चुकी है. दिसंबर, 2021 में बीमा प्रीमियम कारोबार के 61.6 फीसदी हिस्से पर इसका नियंत्रण था.
  13. Advertisement


(हेडलाइन के अलावा, इस खबर को एनडीटीवी टीम ने संपादित नहीं किया है, यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
Featured Video Of The Day
Manipur Violence: BJP और Congress में जुबानी जंग शुरु, JP Nadda ने Malikarjun Kharge पर किया पलटवार
Topics mentioned in this article