कुछ महीने पहले अत्यधिक बारिश का अनुभव करने वाला केरल अब भीषण गर्मी की स्थिति से जूझ रहा है. यहां तापमान अभूतपूर्व स्तर तक बढ़ रहा है. तटीय राज्य में गर्मी अभी शुरू ही हुई है और दैनिक ताप सूचकांक (हीट इंडेक्स) खतरनाक रूप दिखा रहा है. केरल राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (केएसडीएमए) द्वारा बृहस्पतिवार को तैयार की गई एक रिपोर्ट के अनुसार, दक्षिणी राज्य के कुछ क्षेत्रों में 54 डिग्री सेल्सियस से अधिक का हीट इंडेक्स दर्ज किया गया है.
हीट स्ट्रोक का खतरा
हीट इंडेक्स उस गर्मी की ओर इशारा करता है, जो वायुमंडलीय तापमान और आर्द्रता के संयुक्त प्रभाव से अनुभव करता है. कई विकसित देश सार्वजनिक स्वास्थ्य चेतावनी जारी करने के लिए हीट इंडेक्स का उपयोग करते हैं. इसके अनुसार, तिरुवनंतपुरम जिले के दक्षिणी सिरे और अलप्पुझा, कोट्टायम और कन्नूर जिलों के कुछ क्षेत्रों में 54 डिग्री सेल्सियस से अधिक तापमान है. तिरुवनंतपुरम, कोल्लम, अलप्पुझा, कोट्टायम, एर्नाकुलम, कोझिकोड और कन्नूर के प्रमुख क्षेत्रों में भी गुरुवार को 45-54 डिग्री सेल्सियस तापमान दर्ज किया गया. इन जगहों पर लंबे समय तक संपर्क और गतिविधि से हीट स्ट्रोक हो सकता है.
पलक्कड़ में गर्मी से राहत
आम तौर पर, पूरे कासरगोड, कोझिकोड, मलप्पुरम, कोल्लम, पठानमथिट्टा और एर्नाकुलम में 40-45 डिग्री सेल्सियस का हीट इंडेक्स होता है, जो लंबे समय तक धूप में रहने पर थकान का कारण बन सकता है. इडुक्की और वायनाड के पहाड़ी जिलों के कुछ हिस्सों में ही 29 डिग्री सेल्सियस से नीचे का हीट इंडेक्स है. गर्मियों के दौरान आम चलन के विपरीत, इस साल अब तक पलक्कड़ में गर्मी से राहत है, जिले में 30-40 डिग्री सेल्सियस का हीट इंडेक्स है. अधिकांश इडुक्की जिला भी इसी श्रेणी में है. भारतीय मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) की स्वचालित मौसम मानचित्रण सुविधाओं का उपयोग करके केएसडीएमए इस हीट इंडेक्स को तैयार करता है. हालांकि, आईएमडी तिरुवनंतपुरम ने इस रिपोर्ट पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया है. स्वास्थ्य अधिकारियों ने लोगों से अनुरोध किया है कि वे बाहर जाते समय अतिरिक्त सावधानी बरतें और खुद को तेज गर्मी से बचाने के लिए खुद को अच्छी तरह से हाइड्रेट करें.
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